देश के लिए कैसी रहेगी सक्रांति

- पं. अशोक पवांर मंय
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पौष शुक्ल पक्ष की दशमी, 14 जनवरी को भगवान भास्कर का मकर राशि में आगमन होगा। शुक्रवार में लगने से यह संक्रांति शुभ है। इस का गमन दक्षिण है वहीं दिशा दृष्टि नैऋत्य में है। कुछेक को संक्रांति दशमी को होने से रोग व कष्ट बढ़ेंगे। बालक कुछ कष्ट पाएँगे। दक्षिणी देश पर कुप्रभाव हो व कष्ट महसूस होगा।

नैऋत्य कोण को देखने से इससे लगे प्राँत भी कष्ट का अनुभव करेंगे। अधिकारी वर्ग में चिंता रहेगी। अग्नि भय, चोरी की घटना बढ़ेंगी, मूँग महँगा होगा, पशु को कष्ट, आभूषण की वस्तु महँगी होगी तथा धान्य में वृद्धि होगी। शुक्रवारी होने से अन्न में घटा-बढ़ी, गुड़ तेज होगा, पशु धन मंदे होंगे। किराना व्यापार मंदा रहेगा। सभी लोग सुखी होंगे व नित नवीन उत्सव होंगे।

संक्रांति के समय सूर्य अपने पुत्र शनि की राशि मकर में प्रदोष काल के समय प्रवेश करने पर देश व जनता पर कैसा प्रभाव पड़ेगा आइए जानें :-

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इस समय कर्क लग्न का उदय 10 अंश 17 कला में था। लग्न का स्वामी चन्द्र मेष राशि में था व इसका स्वामी मंगल अस्त होकर सप्तम भाव में सूर्य के साथ है। इस कारण दैनिक व्यवसाय व स्त्री को कष्ट। विदेशी मामलों में, शत्रु, डकैती, चोरी भय, आपसी संघर्ष अंतरराष्ट्रीय मामले, गुप्त शत्रु, तलाक के मामले, अनैतिकता की दर में वृद्धि जैसी घटनाएँ बढ़ेगी।

नवम भाव में गुरु की स्थिति से न्यायपालिका सख्त नजर आएगी। सर्वोच्च न्यायाधीश सख्त नजर आएँगे। भाग्य में वृद्धि होगी, लंबी दूरी के कॉल सस्ते हो सकते है, कूटनीति में बदलाव आएगा। राजनीतिज्ञों के लिए यह समय कठिन रहेगा, राजनीति में बदलाव की भी संभावना रहेगी।

शुक्र का वृश्चिक में होने से अनैतिक कार्य में वृद्धि भी हो सकती है। सत्ता पक्ष को आर्थिक घोटाले परेशान करते नजर आएँगे। जनता भी परेशानी अनुभव करेगी। महँगाई पर लगाम लगती नजर नहीं आएगी। बुध नीच के राहू के साथ होने से व्यापारी खूब मुनाफा कमाएँगे।

बाहरी मामलों में देश के नेताओं को समझदारी से काम लेना होगा। बाहर से चोट लग सकती है। भ्रष्टाचारी देश की साख पर बट्‍टा लगाएँगे। लेकिन सरकार सख्त कदम नहीं उठा पाएगी। नवम का गुरु स्वराशि मीन का होने से सुप्रीम कोर्ट अवश्य लगाम लगा सकती है। देश की जनता संयम से चलकर काम लेगी। लग्न पर गुरु की उच्च दृष्टि आगामी 6 माह में कोई कमाल दिखाने में अवश्य समर्थ होगी। मंगल की नीच दृष्टि लग्न पर जनता के लिए कष्टकारी रहेगी।

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