वास्तु अनुसार घर को इन 20 तरीकों से बनाएं भाग्यवर्धक

प्रकृति में ही है वह उपाय जिससे आप अपनी सकारात्मक ऊर्जा का विकास कर अपने भाग्य को जागृत कर सकते हैं। भाग्य में समय और स्थान का भी बहुत महत्व होता है। गलत स्थान पर रहने से या जाने से भी भाग्य बंद हो जाता है। भाग्य में कर्म का भी योगदान होता है। गलत कर्म करने से भी भाग्य बंद हो जाता है। लेकिन हम आपको बता रहे हैं भाग्य को जाग्रत करने वास्तु अनुसार आसान 20 तरीके।
 
 
घर को बनाएं भाग्यवर्धक : -
1. घर का द्वारल उत्तर या ईशान में है तो अति उत्तम, पूर्व में है तो उत्तम और पश्‍चिम में है तो मध्यम माना जाता है। घर के नैऋत्य कोण (दक्षिण-पश्चिम क्षेत्र) में अंधेरा न रखें तथा वायव्य कोण (उत्तर-पश्चिम क्षेत्र) में तेज रोशनी का बल्ब न लगाएं। घर में तुलसी का पौधा रहता है, तो कई प्रकार के वास्तु दोष दूर रहते हैं। तुलसी के पौधे के पास रोज शाम को दीपक भी लगाना चाहिए।
 
2. घर सदा साफ-सुधरा रखें और घर के भीतर अनावश्यक, टूटी-फूटी वस्तुएं, फटे पुराने कपड़े, कबाड़ आदि नहीं होना चाहिए।
3. घर में ढेर सारे देवी और देवताओं के चित्र या मूर्तियां न रखें और ना ही नकारात्मक चित्र लगाएं। जैसे ताजमहल या कांटेंदार पौधों का चित्र।
4. घर का ईशान कोण हमेशा खाली रखें या उसे जल का स्थान बनाएं।
5. दरवाजे के ऊपर भगवान गणेश का चित्र और दाएं-बाएं स्वस्तिक के साथ लाभ-शुभ लिखा हो।
6. सुबह और शाम घर में मधुर सुगंध और संगीत से वातावरण को अच्छा बनाएं।
7. रात्रि में सोने से पहले घी में तर किया हुआ कपूर जला दें।
8. घर के आसपास नकारात्मक ऊर्जा वाले पौधे, वृक्ष हैं, तो उनसे सावधान रहें।
9. घर में हवा के रास्ते ऐसे हो कि घर में हवा का प्रवेश करते ही मध्यम बहे। 
10. तीन दरवाजे एक सीध में न हो। हवा एक और से घुसे और दूसरी ओर ने निकलने वाले रास्ते न हो।
11. घर में रखें ये वस्तुएं रुद्राक्ष, शंख, घंटी, स्वस्तिक का चिह्न, ऊं का लॉकेट, कलश, गंगाजल, मौली (कलाई पर बंधने वाला नाड़ा), कमल गट्टे, तुलसी या रुद्राक्ष की माला, सालग्राम और पंच देव की पीतल की मूर्ति, दीवार पर लगा प्रकृति का चित्र या हंसमुख परिवार का चित्र।
 
12. केला, तुलसी, मनी प्लांट, अनार, पीपल, बड़, आम, जामफल, कड़ी पत्ता, चंपा, चमेली, हरसिंगार, वैजयंती, रातरानी आदि के पौधे लगाएं।
 
13. सप्ताह में एक बार (गुरुवार को छोड़कर) समुद्री नमक से पोंछा लगाने से घर में शांति रहती है। घर की सारी नकारात्मक ऊर्जा समाप्त होकर घर में झगड़े भी नहीं होते हैं तथा लक्ष्मी का वास स्थायी रहता है।
 
14. बहुत से लोगों के घरों में वस्तु के रूप में कामधेनु गाय, गाय-बछड़ा, नर्मदा शिवलिंग, श्‍वेतार्क गणपति, सिंघम लक्ष्मी शंख, नजर बट्टू, बत्तख या हंसों का जोड़ा, द्वारिका शिला, नागमणि, पारद शिवलिंग, हीरा शंख, गोमती चक्र, श्रीयंत्र, गौरोचन, मछलीघर, शिवलिंग, शालिग्राम, दक्षिणावर्ती शंख, मणि, नग, कौड़ी, समुद्री नमक, हल्दी की गांठ, रुद्राक्ष, हाथाजोड़ी, पारद शिवलिंग आदि सैकड़ों वस्तुएं हो सकती हैं, लेकिन घर में क्या और कहां कौन-सी वस्तु रखें इसके लिए वास्तु विशेषज्ञ से सलाह लें।
 
15.घर के शौचायल और बाथरूम को साफ सुधरा और सुगंधित बनाकर रखें क्योंकि यह स्थान राहु और चंद्र का होता है। 
 
16. घर की वस्तुओं को वास्तु अनुसार रखकर प्रतिदिन घर को साफ और स्वच्छ कर प्रतिदिन देहरी पूजा करें। घर के बाहर देली (देहली या डेल) के आसपास स्वस्तिक बनाएं और कुमकुम-हल्दी डालकर उसकी दीपक से आरती उतारें। इसी के साथ ही प्रतिदिन सुबह और शाम को कर्पूर भी जलाएं और घर के वातावरण को सुगंधित बनाएं। जो नित्य देहरी की पूजा करते हैं, देहरी के आसपास घी के दीपक लगाते हैं, उनके घर में स्थायी लक्ष्मी निवास करती है।
 
17.नर व नारायण दक्षिणावर्ती शंख में बासमती चावल भरकर चांदी के सिक्के डालकर एक माला बांधकर तिजोरी में रखने से दरिद्रता का नाश होता है। धन व समृद्धि दोनों प्राप्त होते हैं। आप तिजोरी में पीली कौड़ी या हल्दी की गांठ भी रख सकते हैं। तांबे, चांदी और पीतल के 100 या 200 सिक्के इकट्ठे करके उनको एक पोटली में बांधकर तिजोरी में रखें। तिजोरी में इत्र की शीशी भी रखें या अष्टगंध भी रख सकते हैं जिससे तिजोरी जब भी खोलें तो सुगंध आए। यह अहसास आपके घर में बरकत बनाए रखेगा।
 
18. आपके घर में टूटी हुई चेयर या टेबल पड़ी है तो उसे तुरंत घर से हटा दें। ये आपके पैसों और तरक्की को रोक देती है। बैठक रूप का सोफा भी फटा या टूटा हुआ नहीं होना चाहिए। उस पर बिछाई गई चादर भी गंदी या फटी नहीं होना चाहिए। सोफा, कुर्सी या टेबल कैसी हो इसका भी वास्तु होता है। यह भले ही सुंदर और साफ हो लेकिन कभी कभी उनकी बनावट या आकार प्रकार भी घर में नकारात्मक ऊर्जा का विकास करती है। इसलिए किसी वास्तुशास्‍त्री से पूछकर ही ये चीजें खरीदें।
 
19. घर की खिड़की या दरवाजे से नकारात्मक वस्तुएं दिखाई देती हैं, जैसे सूखा पेड़, फैक्टरी की चिमनी से निकलता हुआ धुआं आदि। ऐसे दृश्यों से बचने के लिए खिड़कियों पर पर्दा डाल दें।
 
20 घर के मुख्य द्वार के सामने या पास में बिजली का खंभा, ट्रांसफॉर्मर या कोई पेड़ लगा है तो यह द्वार वेध होगा। इससे घर के सदस्यों को अपने कार्यों में हर जगह रुकावट और असफलता का सामना करना पड़ेगा। घर के आसपास यदि कोई सूखा पेड़ या ठूंठ है, तो उसे तुरंत हटा देना चाहिए। घर के आस-पास कोई गंदा नाला, गंदा तालाब, श्मशान घाट या कब्रिस्तान नहीं होना चाहिए। इससे भी वातावरण में बहुत अधिक फर्क पड़ता है।

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