रीवा और शहडोल में बाहर से आने वाले मजदूरों का मेडिकल कराएं : कमिश्नर डॉ. भार्गव

Webdunia
बुधवार, 29 अप्रैल 2020 (18:51 IST)
रीवा। मध्यप्रदेश शासन द्वारा मध्यप्रदेश के मजदूर जो दूसरे राज्यों में हैं, उन्हें राज्य के गृह नगर में पहुंचाने के लिए निर्देश जारी किए गए हैं। रीवा एवं शहडोल संभाग के कमिश्नर डॉ. अशोक कुमार भार्गव ने इस संबंध में शासन स्तर पर व्यापक कार्यवाही सुनिश्चित करने हेतु संबंधित जिले के कलेक्टर को विभिन्न विभागों के बीच समन्वय बनाने के लिए अधिकृत किया है।

उन्होंने रीवा एवं शहडोल दोनों संभागों के सभी जिला कलेक्टरों को निर्देशित किया है कि बाहर से आने वाले मजदूरों, छात्रों, नागरिकों आदि के जिले में प्रवेश करने से पूर्व ही उनका चिकित्सक दलों द्वारा विधिवत मेडिकल परीक्षण कराएं। किसी भी व्यक्ति में कोरोना वायरस संक्रमण के लक्षण पाए जाने पर तत्परता से वायरोलॉजी रिसर्च डायग्नोस्टिक लैब में टेस्ट हेतु सैंपल भेजें।

संदिग्ध व्यक्तियों को 14 दिन के लिए क्वारेंटाइन करने की व्यवस्था करें। इस संबंध में भारत सरकार द्वारा जारी गाइडलाइन का पालन करें। मजदूरों के परिवहन, ठहरने, भोजन, चिकित्सकीय जांच आदि की व्यवस्था करें। होम क्वारेंटाइन किए गए व्यक्तियों से आवश्यकतानुसार सतत संवाद व संपर्क स्थापित करें। मेडिकल टीम द्वारा उनके स्वास्थ्य की जानकारी प्राप्त करें।

कमिश्नर डॉ. भार्गव ने बताया कि संभाग स्तर पर कंट्रोल रूम स्थापित किया गया है। रीवा संभाग में कमिश्नर कार्यालय में कंट्रोल रूम स्थापित किया गया है, जिसका प्रभारी डिप्टी कमिश्नर (राजस्व) केपी पाण्डेय (मोबाइल नम्बर 9575572323) को बनाया गया है। कंट्रोल रूम का दूरभाष नम्बर 07662-242143 है। 
 
इसी प्रकार शहडोल संभाग में कमिश्नर कार्यालय में कंट्रोल रूम स्थापित किया गया है, जिसका प्रभारी अधिकारी उपायुक्त राजस्व दिलीप कुमार पाण्डेय (मोबाइल नम्बर 9977174659) को बनाया गया है। कंट्रोल रूम का दूरभाष नम्बर 07652-245555 है।

डॉ. भार्गव ने सभी कलेक्टरों को निर्देशित किया है कि जिला स्तर पर कंट्रोल रूम बनाकर नोडल अधिकारी की नियुक्ति कर व्यापक प्रचार-प्रसार करें। अपने जिलों में कंटेनमेंट एरिया बनवाएं एवं निगरानी के लिए दल गठित करें। 
 
उन्होंने कहा कि शासन द्वारा दिए गए दिशा-निर्देश के अनरूप श्रमिकों को बाहर से लाने एवं ले जाने के लिए संचालित शिविरों में संपूर्ण व्यवस्था करें। उन्हें वित्तीय सहायता उपलब्ध कराने के साथ ही लाभार्थी मजदूरों की जानकारी से कमिश्नर कार्यालय को अवगत कराएं। 

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