शेयर बाजार के आंकड़ों के मुताबिक, अडाणी समूह की सात कंपनियों में एलआईसी का कुल निवेश 31 मार्च, 2023 को 38,471 करोड़ रुपए से बढ़कर 31 मार्च, 2024 को 61,210 करोड़ रुपए हो गया। इसमें 22,378 करोड़ रुपए की वृद्धि दर्ज की गई।
पिछले साल, हिंडनबर्ग रिपोर्ट में अडाणी के शेयरों में हेराफेरी के आरोपों के बाद बीमा कंपनी को भी समूह में निवेश करने के अपने फैसले पर सवालों का सामना करना पड़ा था। हालांकि, अडाणी ने रिपोर्ट को पूरी तरह गलत बताया था।
राजनीतिक दबाव का सामना करते हुए, एलआईसी ने रणनीतिक रूप से समूह की दो प्रमुख कंपनियों - अडाणी पोर्ट्स एंड एसईजेड और अडाणी एंटरप्राइजेज - में अपना निवेश कम कर दिया था। इन दो कंपनियों के शेयरों में क्रमशः 83 प्रतिशत और 68.4 प्रतिशत की तेजी हुई।
इस दौरान अडाणी समूह की कंपनियों में कई विदेशी निवेशकों - कतर इन्वेस्टमेंट अथॉरिटी, अबू धाबी स्थित आईएचसी, फ्रांसीसी दिग्गज टोटल एनर्जी और अमेरिका स्थित जीक्यूजी इन्वेस्टमेंट ने लगभग 45,000 करोड़ रुपए का निवेश किया।
आंकड़ों के मुताबिक, अडाणी एंटरप्राइज लिमिटेड में एलआईसी का निवेश 31 मार्च, 2023 को 8,495.31 करोड़ रुपये से बढ़कर एक साल बाद 14,305.53 करोड़ रुपए हो गया। इस दौरान अडाणी पोर्ट्स एंड एसईजेड में निवेश 12,450.09 करोड़ रुपए से बढ़कर 22,776.89 करोड़ रुपए हो गया।