पुणे ने पंजाब को पांच विकेट से हराया

रविवार, 8 मई 2011 (23:55 IST)
युवराजसिंह की पुणे वारियर्स को जिस जीत का लंबे समय से इंतजार था वह आज उसे पंजाब की धरती पर मिल गई। वारियर्स ने गेंदबाजों के अनुशासित प्रदर्शन के दम पर इंडियन प्रीमियर लीग में किंग्स इलेवन पंजाब को यहां पांच विकेट से शिकस्त दी।

पंजाबी पुत्तर युवराज ने जिस पीसीए स्टेडियम से अपना करियर आगे बढ़ाया वह उनके लिए भाग्यशाली रहा। यह अलग बात है कि उनकी टीम को लगातार सात हार और नाकआउट की दौड़ से बाहर होने के बाद जीत मिली है, लेकिन इससे युवराज ने अपनी पिछली टीम किंग्स इलेवन के समीकरण जरूर बिगाड़ दिए हैं।

किंग्स इलेवन मैच में शुरू से ही किसी भी समय रंग में नहीं दिखा और पहले बल्लेबाजी करके वह आठ विकेट पर 119 रन ही बना पाया। पुणे ने 17.1 ओवर में पांच विकेट पर 120 रन का लक्ष्य हासिल किया। पुणे के अब दस मैच में छह अंक हैं और वह आठवें स्थान पर आ गया है। पंजाब नौ मैच में छह अंक के साथ सबसे नीचे पहुंच गया है। उसे यदि नाकआउट में पहुंचना है तो बाकी बचे पांचों मैच बड़े अंतर से जीतने होंगे।

मैच से पहले सभी की जुबान पर सौरव गांगुली की नाम था। यह पूर्व भारतीय कप्तान नहीं खेला लेकिन उनकी मौजूदगी में पुणे ने प्रेरणादायी प्रदर्शन किया। पुणे के लिए जीत की सौगात उसके गेंदबाज लेकर आए। कलाइयों के नए भारतीय जादूगर राहुल शर्मा, सचिन तेंडुलकर को एक बार शून्य पर आउट करने वाले भुवनेश्वर कुमार, दक्षिण अफ्रीकी पर्नेल और ऑस्ट्रेलियाई मिशेल मार्श सभी ने दो-दो विकेट लिए।

बल्लेबाजी का वक्त आया तो फिर सभी ने अपनी तरफ से योगदान दिया। युवराज के 15 गेंद पर 35, मनीष पांडे के 28 और रोबिन उथप्पा के 22 रन काफी उपयोगी साबित हुए।

पांडे ने हैरिस पर दूसरे ओवर में दो चौके लगाए, जबकि प्रवीण के अगले ओवर में यही काम राइडर ने किया। जब शलभ श्रीवास्तव आए तो उनकी गेंद भी दो बार सीमा रेखा के पार पहुंची, लेकिन बाएँ हाथ के स्पिनर भार्गव भट पर सही टाइमिंग से शॉट नहीं जमाने के कारण राइडर लांग ऑन पर लपक लिए गए।

नए बल्लेबाज उथप्पा ने आते ही शलभ पर दो चौके लगाए जिससे पुणे की टीम पॉवरप्ले में 40 रन जुटाने में सफल रही। उथप्पा हालांकि हैरिस के बाउंसर को सीमा से पार भेजने में नाकाम रहे और शलभ ने दौड़ लगाकर लिए खूबसूरत कैच से उनकी पारी का अंत कर दिया। पांडे जल्दबाजी में नहीं थे, लेकिन प्रवीण की गेंद पर वह पुल करने से चूक गए और बोल्ड हो गए।

युवराज ने फिर भट को निशाना बनाया और पारी के 15वें ओवर में इस गेंदबाज पर मिडविकेट पर दो छक्के जड़ने के अलावा दो चौके भी लगाए। शलभ ने इसके बाद युवराज और अभिषेक झुनझुनवाला को आउट किया, लेकिन इससे वह केवल अपना गेंदबाजी विश्लेषण ही सुधार पाए। टीम के लिहाज से तब बहुत देर हो चुकी थी।

इससे पहले किंग्स इलेवन की तरफ से केवल तीन बल्लेबाज शान मार्श (32), दिनेश कार्तिक (30) और पॉल वलथाटी (23) ही दोहरे अंक में पहुँच पाए। उसने अपने अंतिम छह विकेट 36 रन के अंदर गंवाए।

उन्होंने खराब फार्म में चल रहे एडम गिलक्रिस्ट (3) को आउट करके पीसीए स्टेडियम में मौजूद युवराज के प्रशंसकों में जान भरी और फिर अगले स्पैल में वलथाटी के तेवर भी ठंडे किए।

दर्शकों को बाद में मार्श बनाम मार्श का मुकाबला भी देखने को मिला। शान ने छोटे भाई मिशेल पर जब मिडविकेट पर चौका जड़ा तो कैमरे की नजर उनके पिता और पुणे वारियर्स के कोच ज्यॉफ मार्श पर लगी थी। दोनों भाइयों की यह जंग आगे चल पाती इससे पहले ही भुवनेश्वर ने शान को धीमी गेंद पर बोल्ड कर दिया। उन्होंने 28 गेंद खेली तथा तीन चौके और एक छक्का लगाया।

इस आईपीएल में अपना पहला मैच खेल रहे उत्तरप्रदेश के 20 वर्षीय गेंदबाज भुवनेश्वर ने नए बल्लेबाज डेविड हसी को शॉर्ट पिच गेंद पर विकेट के पीछे कैच कराया। मिशेल अपने भाई का विकेट तो नहीं ले पाए, लेकिन उन्होंने कार्तिक को जरूर सीमा रेखा पर झुनझुनवाला के हाथों लपकवाया। झुनझुनवाला ने कुल तीन कैच लपके।

पुछल्ले बल्लेबाज भी विकेटों का पतझड़ थामने में नाकाम रहे। युवराज ने दूसरे प्रयास में मनदीपसिंह का हवा में लहराता कैच लपका। मार्श ने हमवतन रेयान हैरिस (4) और पर्नेल ने सिद्धार्थ चिटणीस (9) को आउट करके स्टैंड पर मौजूद किंग्स इलेवन की सह मालकिन प्रीति जिंटा की मायूसी में इजाफा किया। (भाषा)

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