उमर अब्दुल्ला से लद्दाख के बौद्ध नाराज...

लद्दाहेमिस मठ में द्रुकपा सम्मेलन में भाग लेने आए द्रुकपा पंथ के अनुयायी उस समय नाराज हो गए, जब रविवार को कार्यक्रम में भाग लेने की स्वीकृति देने के बाद भी जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला यहां नहीं आए।
PR
बौद्ध धर्म के एक अहम पंथ द्रुकपा के अनुयायियों का 5वां वार्षिक सम्मेलन हेमिस मठ में चल रहा है। इस कार्यक्रम में उमर के भाग न लेने से लोगों में काफी नाराजगी दिखाई दी।

उल्लेखनीय है कि जम्मू-कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला इस कार्यक्रम में भाग लेने के लिए हे‍मिस मठ आने वाले थे। स्वीकृत‍ि के बाद भी वे कार्यक्रम में नहीं आए। उमर के इस रुख से न सिर्फ पंथ के मुखिया ग्यालवांग द्रुकपा ने नाराजी जाहिर की, बल्कि आयोजन के चेयरमैन संत क्याबजे ठुक्से रिम्पोचे ने तो मंच से ही अपने असंतोष को प्रकट कर दिया।

नहीं आए उमर, वोटों पर पड़ेगा असर... अगले पन्ने पर...


FILE
रिम्पोचे ने कहा कि उमर अब्दुल्ला के इस रुख से हमारी भावनाएं आहत हुई हैं। उन्होंने कहा कि ऐसा पहली बार नहीं हुआ जब उमर कार्यक्रम में नहीं आए। वे पहले भी स्वीकृति देकर कार्यक्रम में नहीं आए हैं। मंच से अन्य लोगों ने भी इसका विरोध किया।

मंच से कहा गया कि उमर के व्यवहार से द्रुकपा समुदाय की भावनाएं आहत हुई है। इससे सबके मन को पीड़ा पहुंची है। लद्दाख में बौद्ध धर्म को मानने वालों में 85 फीसदी द्रुकपा समुदाय के हैं। उमर ने किस तरह के दबाव में लेह-लद्दाख का दौरा रद्द किया है, कहा नहीं जा सकता पर जानकारों का मानना है कि आगामी चुनाव में निश्चित तौर पर नेशनल कांफ्रेंस के वोटों पर इसका असर होगा।

उल्लेखनीय है कि उमर की पार्टी को पहले नवंबर-दिसंबर में विधानसभा चुनाव और फिर 2014 में लोकसभा चुनाव का सामना करना है। ऐसे समय में उमर का सम्मेलन में न आना द्रुकपा समुदाय के साथ ही उमर समर्थकों को भी खटक रहा है।

वेबदुनिया पर पढ़ें