न्यायमूर्ति गांगुली ने किया आरोपों का खंडन

शुक्रवार, 29 नवंबर 2013 (22:46 IST)
कोलकाता। उच्चतम न्यायालय के पूर्व न्यायाधीश न्यायमूर्ति एके गांगुली ने एक युवा लॉ इंटर्न की ओर से उनके खिलाफ लगाए गए यौन उत्पीड़न के आरोपों के मद्देनर शुक्रवार को यह कहने से इनकार कर दिया कि क्या वे पश्चिम बंगाल मानवाधिकार आयोग के अध्यक्ष पद से इस्तीफा देंगे।

जब मीडियाकर्मियों ने यहां आरोपों पर उनकी टिप्पणी मांगी तो न्यायमूर्ति गांगुली ने कहा, मैं कुछ भी नहीं कहूंगा। किस तरह का यह सवाल है। इससे पहले, न्यायमूर्ति एके गांगुली ने इंटर्न के आरोपों का जोरदार खंडन किया।

जिस न्यायाधीश के खिलाफ आरोप लगाए गए थे, उसके नाम का आज खुलासा कर दिया गया जब शीर्ष अदालत के एक अधिकारी ने बताया कि समिति ने इंटर्न के साथ-साथ न्यायमूर्ति गांगुली का बयान दर्ज कर लिया है। जैसे ही नाम सार्वजनिक हुआ न्यायमूर्ति गांगुली ने आरोपों पर स्तब्धता जाहिर की और कहा कि वे दुखी हैं।

उन्होंने कहा, मैं सबकुछ का खंडन कर रहा हूं। मैंने समिति से कहा है कि इंटर्न की ओर से लगाए गए सारे आरोप गलत हैं। मैं नहीं जानता कि कैसे मेरे खिलाफ इस तरह के आरोप लगाए गए हैं। (भाषा)

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