ओंकारेश्वर ज्योर्तिलिंग के दर्शन

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इस बार रविवार को आप कहां जाना चाहेंगे? घूमना, मस्ती, खरीददारी आदि भी होना चाहिए। अगर आप तय नहीं कर पा रहे हैं तो हमारी सलाह है इस बार जाइए ओंकारेश्वर। सैर भी हो जाएगी और ज्योर्तिलिंग के दर्शन भी...।

सुविधा के साथ प्राकृतिक दृश्यों का लुत्फ लेने की चाह रखने वाले अमूमन बस या फिर खुद के वाहन से जाना ज्यादा पसंद करते हैं। इंदौर से दूरी लगभग 80 किमी होती है। खंडवा रोड पर बड़वाह, मोरटक्का होते हुए लगभग ढाई घंटे में ओंकारेश्वर पहुंचा जा सकता है।

ओंकारेश्वर जाने के लिए ट्रेन और बस दोनों ही तरह के साधन उपलब्ध हैं। ट्रेन से जाने वाले लोगों को ओंकारेश्वर रोड स्टेशन ही उतरना पड़ता है। यहां से ओंकारेश्वर मंदिर की दूरी लगभग 13 किमी रह जाती है। मंदिर पहुंचने के लिए यहां से कई तरह के साधन उपलब्ध हैं।

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इंदौर से ओंकारेश्वर जाने के लिए सुबह से ही बसें उपलब्ध होती हैं। निजी बसों में किराया रु. 70 से 80 होता है। बेहतर सुविधा के लिए सुबह 8.15 बजे मप्र पर्यटन की एसी बस का सफर भी किया जा सकता है। इसमें भी किराया रु. 80 ही रखा गया है। इसकी बुकिंग पहले से करवा ली जाए तो ज्यादा बेहतर है।

रविवार को दिन भर यहीं पर बिताने के अलावा कई लोग सोमवार सुबह की आरती में शामिल होकर घर का रुख करते हैं। लिहाजा यहां रात को ठहरने के लिए भी बेहतर व्यवस्थाएं हैं।

मप्र पर्यटन विभाग के गेस्ट हाउस के साथ ही अन्य होटलों में भी सुविधाएं हैं। ममलेश्वर और ओंकारेश्वर मंदिर के दर्शन के साथ ही ओंकार पर्वत की परिक्रमा का विशेष महत्व है।

इस दौरान नदी और घाटों के नजारे कई गुना ज्यादा सुंदर दिखाई देते हैं। यात्रा के दौरान ऐतिहासिक घाटों, प्राकृतिक खूबसूरती को संजोए पर्वत, आश्रमों, डेम, बोटिंग आदि का लुत्फ भी लिया जा सकता है।

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