बबली यादव

एक ऐसे शहर में, एक ऐसा नाटक खेलना जो उस भाषा का नहीं जिसे दिन रात वहाँ के लोग जीते हों, कोई मामूली घटना नहीं. जो लोग भाषा नहीं समझते, वो भाव पकड़ पाएंगे,...