यह बात उस दौर की है जब कलाकारों में आपस में कटुता नहीं थी। स्वस्थ प्रतिद्वंद्विता का दौर था। मीडिया में भी सिनेमा को लेकर इतना शोर नहीं था। बड़ी-बड़ी फिल्में एक ही दिन रिलीज होती थी। सभी को सिनेमाघर मिल जाते थे और दर्शक भी। आज के दौर में यह संभव नहीं है। क्या आज आमिर खान और शाहरुख खान की फिल्म एक ही दिन रिलीज हो सकती है? इसका जवाब नहीं है, लेकिन 1995 में ऐसा हुआ था। 1 दिसम्बर 1995 को आमिर खान की 'अकेले हम अकेले तुम' और शाहरुख खान की 'राम जाने' रिलीज हुई थी। दोनों खान आमने-सामने थे। फिल्में खास नहीं थी, लेकिन बॉक्स ऑफिस पर शाहरुख की फिल्म के कलेक्शन आमिर की फिल्म से ज्यादा थे।
'अकेले हम अकेले तुम' को आमिर खान के चचेरे भाई मंसूर खान ने निर्देशित किया था, जो इन दिनों फिल्म इंडस्ट्री छोड़ चुके हैं। फिल्म में मनीषा कोइराला, देवेन वर्मा, तन्वी आज़मी, परेश रावल, सतीश शाह जैसे कलाकार थे। फिल्म का संगीत कमाल का था। अनु मलिक ने कर्णप्रिय धुनें बनाई थीं। 'अकेले हम अकेले तुम', 'राजा को रानी से प्यार हो गया', 'दिल मेरा चुराया क्यूं' हिट हुए थे।
इस फिल्म को बनाने की प्रेरणा 1979 में रिलीज हुई अमेरिकन फिल्म 'क्रेमर वर्सेस क्रेमर' से ली गई थी। यह रोहित और किरण नामक गायक-गायिका की प्रेम कहानी थी जो शादी करते हैं और बाद में दोनों में मतभेद उभरते हैं। किरण स्टार बन जाती है और रोहित का संघर्ष खत्म नहीं होता। आमिर की इमेज उस समय लवर बॉय की थी और इस तरह दु:खों से भरी फिल्म में उन्हें देखना दर्शकों को रास नहीं आया।
दूसरी ओर शाहरुख खान को लेकर राजीव मेहरा ने 'राम जाने' नामक मसाला फिल्म रची। फिल्म में जूही चावला, विवेक मुश्रान, पंकज कपूर, देवेन वर्मा, गुलशन ग्रोवर, टीनू आनंद जैसे कलाकार थे। फिल्म में संगीत अनु मलिक का था, लेकिन गाने ज्यादा पसंद नहीं किए गए।