फिल्म निर्माता करण जौहर ने ‘द इम्मोर्टल्स ऑफ मेलुहा’ के अधिकार साल 2014 में खरीदे थे, लेकिन वे इस पर काम शुरू नहीं कर पाए। जौहर ने 2017 में कहा था कि इस किताब पर काम नहीं करने के कारणों में एक यह है कि उन्हें इससे मिलने वाली ‘प्रतिक्रिया को लेकर डर’ है।
अमीश त्रिपाठी की ‘शिवा ट्राइलॉजी’ की पहली किताब ‘द इम्मोर्टल्स ऑफ मेलुहा’ की कहानी खूबसूरत कल्पनाओं के सहारे से महादेव को वास्तविक रूप में दर्शाने का प्रयत्न है। कहानी एक प्राचीन देश मेलुहा की है, जो कई शताब्दी पहले भगवान राम द्वारा स्थापित किया गया था।
इस कड़ी की दूसरी किताब ‘द सीक्रेट ऑफ नागाज’ एक ऐसे रहस्यमय साम्राज्य से परिचय कराता है, जहां हरेक चीज ने मुखौटे पहने हैं और हर जगह में कोई गहरा राज छिपा है। ‘द इम्मोर्टल्स ऑफ मेलुहा’ के अंत से इस उपन्यास का आगाज होता है। नागाज सती पर हमला बोल देते हैं और मेलुहा के रक्षक शिव अपनी पत्नी को बचाने में कामयाब होते हैं। नागाज जाते-जाते एक सिक्का छोड़ जाता है और उस सिक्के के दम पर शिव नागाज का रहस्य पता करने के लिए निकल पड़ते हैं।