भोपाल। कोरोना वायरस के संक्रमण के चलते 22 मार्च से बंद राजधानी भोपाल के सभी धार्मिक स्थल आज फिर से खुल गए। 82 दिन बार खुले धार्मिक स्थलों पर कोरोना संक्रमण को लेकर स्वास्थ्य विभाग की गाइड लाइन का पूरी तरह पालन कराया जा रहा है।
राजधानी में मंदिर खुलने के साथ मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान करुणाधाम आश्रम मंदिर पहुंचकर माता रानी के दर पर माथा टेका। मुख्यमंत्री ने माता रानी से कोरोना आपदा से प्रदेशवासियों की रक्षा की प्रार्थना करते हुए विपदा से लड़ने का आशीर्वाद मांगा।
शहर के प्रमुख बिड़ला मंदिर में दर्शन करने आने वाले श्रद्धालुओं के बीच सोशल डिस्टेंसिंग बनाए रखने के लिए मार्किंग की गई है। इसके साथ संक्रमण से बचने के लिए मंदिर में लगे घंटे को उतार दिया गया है। आज पहले दिन मंदिर पहुंचने वाले श्रद्धालुओं की संख्या अपेक्षाकृत आम दिनों की अपेक्षा कम नजर आ रही है।
शहर के धार्मिक स्थलों को खोलने से पहले उनके बड़े पैमाने पर सैनिटाइज किया गया। धर्मगुरुओं ने लोगों से सोशल डिस्टेंसिंग बनाए रखने की अपील की है।
धार्मिक स्थलों के लिए गाइडलाइन - कोरोना के संक्रमण को देखते हुए धार्मिक स्थलों पर आने वाले श्रद्धालुओं को स्वास्थ्य विभाग की तय गाइडलाइन का पालन करना होगा। श्रद्धालुओं को मूर्ति, धार्मिक ग्रंथ को स्पर्श करने की अनुमति नहीं रहेगी। प्रसाद, चरणामृत, छिड़काव आदि का वितरण भी नहीं हो सकेगा।
मंदिरों में फूल, नारियल, अगरबत्ती, चुनरी आदि चढ़ाने एवं घंटी बजाने की अनुमति नहीं होगी। इसके साथ धार्मिक स्थलों से फिजिकल डिस्टेंस, मास्क लगाना अनिवार्य होगा ।
मस्जिदों में घर से वजु करके आना होगा। अभिवादन के लिये एक दूसरे को स्पर्श नहीं करेंगे। 6 फीट की फिजीकल डिस्टेंसिंग का पालन किया जाना अनिवार्य होगा।
गुरुद्वारा में आने वाले श्रद्धालुओं को गुरुगंथ साहब और ग्रंथी के पास पहुंचने की अनुमति नहीं होगी, वहीं कोरोना संक्रमण के चलते लंगर भी नहीं चलेगा।
सभी धार्मिक स्थल प्रशासन की तय गाइड लाइन के तहत रात 9 बजे के पहले बन्द होंगे।
सभी धार्मिक स्थलों पर किसी भी प्रकार के समारोह का आयोजन और अधिक भीड़, बड़ी संख्या में लोगों को एकत्र होने एवं कॉयर, सिंगिंग, गुरूवाणी गाने की अनुमति नहीं रहेगी।
कंटेनमेंट एरिया के अंतर्गत आने वाले समस्त धार्मिक प्रतिष्ठान, पूजा स्थल बंद रहेंगे, सिर्फ कंटेनमेंट एरिया के बाहर के स्थलों पर प्रवेश की अनुमति होगी।