अर्थात्- गुरु ब्रह्मा, विष्णु और महेश है। गुरु तो परम ब्रह्म के समान होता है, ऐसे गुरु को मेरा प्रणाम।
हिन्दू धर्म में गुरु पूर्णिमा का दिन गुरुजनों, शिक्षकों के पूजन के लिए समर्पित है जो हमें अच्छे संस्कार और शिक्षा देकर हमारे मार्गदर्शक के रूप में कार्य करते हैं। इस दिन आषाढ़ पूर्णिमा और व्यास पूर्णिमा भी मनाई जाती है, अत: इस दिन गंगा स्नान तथा दान, उपहार (भेंट) आदि देने का भी काफी महत्व है।
ज्योतिषियों की मानें तो इस बार गुरु पूर्णिमा पर कुछ खास योग बन रहे हैं। जिसमें रुचक, भद्र, हंस और शश नामक राजयोग बन रहे हैं, जो कि काफी अच्छे माने जाते हैं। इतना ही नहीं गुरु पूर्णिमा के दिन मंगल, बुध, गुरु और शनि स्थिति में है।
इस बार गुरु पूर्णिमा के दिन शुभ मुहूर्त में गुरु को उपहार देने से जीवन में खुशहाली आती है। जब गुरु प्रसन्न होकर हमसे खुश होते हैं तब हमारे ऋषि-मुनि और देवगुरु बृहस्पति भी अपना आशीष हमें प्रदान करते हैं। आइए यहां जानते हैं इस गुरु पूर्णिमा पर जब आप अपने गुरुजी का आशीर्वाद लेने जाएं, तब उनका पूजन करके अपनी राशि अनुसार उन्हें कुछ न कुछ उपहार अवश्य दें, आपको निश्चित रूप से उनका आशीर्वाद मिलेगा।