थानेदार साहब नाचने गए हैं : पेट पकड़कर हंसेंगे जोक पढ़ कर

जैसलमेर से बीकानेर बस रुट पर....
बीच में एक बड़ा सा गाँव है जिसका नाम है  Nachne... जिसे  'नाचने' कहते हैं ।
 
वहाँ से बस आती है तो लोग कहते हैं कि 
नाचने वाली बस आ गयी.. 
 
कंडक्टर भी बस रुकते ही चिल्लाता.. 
"नाचने वाली सवारियाँ उतर जाएं बस आगे जाएगी.."
 
इमरजेंसी में रॉ का एक नौजवान अधिकारी जैसलमेर आया - रात बहुत हो चुकी थी,
वह सीधा थाने पहुँचा और ड्यूटी पर तैनात सिपाही से पूछा - "थानेदार साहब कहाँ हैं?"
 
सिपाही ने जवाब दिया, "थानेदार साहब नाचने गये हैं.
 
अफ़सर का माथा ठनका उसने पूछा, "डिप्टी साहब कहाँ हैं..?"
सिपाही ने विनम्रता से जवाब दिया-
"हुकुम डिप्टी साहब भी नाचने गये हैं..
 
अफ़सर को लगा सिपाही अफीम की पिनक में है, उसने एसपी के निवास पर फ़ोन किया।
 
;एस.पी. साहब हैं?"
 
जवाब मिला, "नाचने गये हैं..!!"
 
"लेकिन नाचने कहाँ गए हैं, ये तो बताइए ?"
 
"बताया न, नाचने गए हैं, सुबह तक आ जाएंगे।"
 
कलेक्टर के घर फोन लगाया वहाँ भी यही जवाब मिला, "साहब तो नाचने गये हैं.."
 
अफ़सर का दिमाग़ ख़राब हो गया, ये हो क्या रहा है इस सीमावर्ती ज़िले में और वो भी इमरजेंसी में।
 
पास खड़ा मुंशी ध्यान से सुन रहा था तो वो बोला - "हुकुम बात ऐसी है कि दिल्ली से आज कोई Minister साहब नाचने आए हैं।"
 
इसलिये सब अफसर लोग भी नाचने गए हैं..!
 

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