दिल्ली की नजरें जीत की हैट्रिक पर

रविवार, 19 अप्रैल 2015 (11:55 IST)
नई दिल्ली। लगातार 2 जीत के साथ आत्मविश्वास से लबरेज दिल्ली डेयरडेविल्स इंडियन प्रीमियर लीग में सोमवार को यहां फिरोजशाह कोटला मैदान पर गत चैंपियन कोलकाता नाइटराइडर्स के खिलाफ जीत की हैट्रिक बनाने के इरादे से उतरेगी।

पहले 2 मैचों में चेन्नई सुपरकिंग्स और राजस्थान रॉयल्स के हाथों करीबी मुकाबलों में शिकस्त के बाद दिल्ली की टीम ने पिछले 2 मैचों में किंग्स इलेवन पंजाब और सनराइजर्स हैदराबाद को हराकर जोरदार वापसी की है।

आईपीएल के पिछले टूर्नामेंट में अंतिम स्थान पर रही डेयरडेविल्स के लिए हालांकि कोटला का घरेलू मैदान भाग्यशाली नहीं रहा है। टीम ने अपने घरेलू मैदान पर अंतिम जीत 2 साल पहले 21 अप्रैल 2013 को मुंबई इंडियंस के खिलाफ हासिल की थी।

इसके बाद से उसने यहां लगातार 8 मैच गंवाए हैं। पिछले साल कोटला में खेले गए सभी 5 मैचों में डेयरडेविल्स को हार का सामना करना पड़ा था जबकि इस साल भी टीम को यहां रॉयल्स के हाथों पहले मैच में शिकस्त झेलनी पड़ी है।

दूसरी तरफ गत चैंपियन कोलकाता नाइटराइडर्स की टीम बेहतर स्थिति में दिख रही है। टीम की गेंदबाजी हालांकि चिंता का सबब है, क्योंकि अब तक प्रत्येक मैच में विरोधी टीमें उसके खिलाफ अच्छा स्कोर खड़ा करने में सफल रही हैं। बल्लेबाजी हालांकि टीम का मजबूत पक्ष है।

दिल्ली की टीम को अपने 2 अहम तेज गेंदबाजों जहीर खान और मोहम्मद शमी की चोटों का खामियाजा भुगतना पड़ रहा है। शमी को टूर्नामेंट से बाहर हो चुके हैं। स्पिनरों ने कुछ हद तक इसकी भरपाई करने की कोशिश की है लेकिन टीम को आगामी मैचों में तेज गेंदबाजों से भी बेहतर प्रदर्शन की उम्मीद होगी।

डेयरडेविल्स को अपने कप्तान जेपी डुमिनी से एक बार फिर काफी उम्मीदें होंगी। डुमिनी ने पिछले मैच में सनराइजर्स के खिलाफ 54 रन की पारी खेलने के अलावा 17 रन देकर 4 विकेट चटकाते हुए टीम की जीत में अहम भूमिका निभाई थी। वे टूर्नामेंट में अपनी स्पिन गेंदबाजी से अब तक 7 विकेट चटका चुके हैं और फिलहाल सर्वाधिक विकेट हासिल करने वाले गेंदबाजों की सूची में दूसरे स्थान पर चल रहे हैं।

टीम के सलामी बल्लेबाज मयंक अग्रवाल और श्रेयष अय्यर ने कुछ अच्छी पारियां खेली हैं लेकिन आईपीएल-8 की खिलाड़ियों की नीलामी में सबसे महंगे 16 करोड़ रुपए में बिके युवराज सिंह ने निराश किया है। युवराज ने टूर्नामेंट में अब तक एकमात्र अर्द्धशतक किंग्स इलेवन पंजाब के खिलाफ 54 रन की पारी खेलकर लगाया था लेकिन बाकी 3 मैचों में वे बुरी तरह नाकाम रहे।

बल्लेबाजी में डुमिनी टीम के सबसे सफल बल्लेबाज हैं, जो अब तक 124 रन जोड़ चुके हैं। मयंक के नाम पर 121 जबकि अय्यर के नाम पर 113 रन हैं।

दूसरी तरफ दिल्ली की तरह ही केकेआर की ओर से भी कप्तान गौतम गंभीर ने मोर्चे से अगुआई की है। वे मुंबई इंडियंस और रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु के खिलाफ क्रमश: 57 और 58 रन की पारियों की मदद से अब तक 126 रन जुटा चुके हैं। पिछले टूर्नामेंट में शानदार प्रदर्शन करने वाले टीम के दूसरे सलामी बल्लेबाज रोबिन उथप्पा ने हालांकि अब तक 3 मैचों में निराश किया है।

सूर्य कुमार यादव और यूसुफ पठान भी उम्मीद पर खरे नहीं उतरे हैं जबकि बांग्लादेश के साकिब अल हसन के राष्ट्रीय प्रतिबद्धता के कारण स्वदेश लौटने पर टीम में शामिल किए गए रेयान टेन डोयेशे भी मौके का फायदा उठाने में विफल रहे।

टीम की सबसे बड़ी चिंता हालांकि गेंदबाजी है। टीम के रहस्यमयी स्पिनर सुनील नारायण नए एक्शन के साथ उतने प्रभावी नहीं लग रहे। पिछले साल टीम को खिताब दिलाने में अहम भूमिका निभाने वाला यह गेंदबाज अब तक 3 मैचों में सिर्फ 1 विकेट हासिल कर पाया है। तेज गेंदबाज उमेश यादव और मोर्ने मोर्कल भी काफी प्रभाव नहीं छोड़ पाए हैं।

ऑलराउंडर के रूप में वेस्टइंडीज के आंद्रे रसेल ने हालांकि टीम की ओर से प्रभावी प्रदर्शन किया है। शनिवार को किंग्स इलेवन के खिलाफ उन्होंने 2 विकेट चटकाने के अलावा 36 गेंद में 66 रन की पारी खेलकर टीम को जीत दिलाई थी।

दिल्ली की गेंदबाजी की बात करें तो डुमिनी, इमरान ताहिर और अमित मिश्रा की स्पिन तिकड़ी ने विरोधी बल्लेबाजों को परेशान किया है। ताहिर 4 मैचों में 9 विकेट के साथ फिलहाल टूर्नामेंट के सबसे सफल गेंदबाज हैं। मिश्रा को उतनी सफलता नहीं मिली है लेकिन वे अपनी स्पिन से बल्लेबाजों को बांधने में सफल रहे हैं।

टीम के पास इसके अलावा नाथन कोल्टर नाइल के रूप में अच्छा तेज गेंदबाज है लेकिन उन्हें दूसरे छोर से सहयोग नहीं मिल रहा।

डोमीनिक जोसफ मुथ्थुस्वामी अब तब 3 मैचों में सिर्फ 1 विकेट हासिल कर पाए हैं। टीम को ऐसे में श्रीलंका के ऑलराउंडर एंजेलो मैथ्यूज से बेहतर प्रदर्शन की उम्मीद होगी, जो अब तक छाप छोड़ने में विफल रहे हैं। (भाषा)

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