रोहित शर्मा की कप्तानी में चल रही मुंबई दो बार की चैंपियन है, लेकिन मौजूदा संस्करण में उसका प्रदर्शन बेहद ही निराशाजनक रहा है और अब तक उसने छह में से पांच मैच गंवा दिए हैं तथा तालिका में वह आठ टीमों में सातवें नंबर पर खिसक गई है। दूसरी ओर दो वर्ष के बैन के बाद चेन्नई की टीम ने धमाकेदार वापसी की है और धोनी के नेतृत्व में छह में से पांच मैच जीते हैं और तालिका में शीर्ष पर है।
आईपीएल में दो दो बार खिताब जीत चुकीं मुंबई और चेन्नई के पास टूर्नामेंट की सबसे बेहतरीन टीमें हैं। दोनों ही टीमों के पास देसी और विदेशी खिलाड़ियों का मजबूत लाइनअप है लेकिन मौजूदा संस्करण में उनके बीच सबसे बड़ा फर्क यही है कि जहां रोहित की टीम जीत के करीब आकर आखिरी में मैच हार रही है तो वहीं धोनी की टीम आखिरी गेंद तक मैच जीतने में सफल हो रही है। मुंबई का डैथ ओवरों में लचर प्रदर्शन और संघर्ष न कर पाना उसकी हार का बड़ा कारण है।
पिछले मैच में मुंबई की विपक्षी सनराइजर्स हैदराबाद के खिलाफ 31 रन की हार सबसे अधिक चौंकाने वाली रही थी। मुंबई के गेंदबाज़ों ने हैदराबाद को 18.4 ओवरों में ही 118 रन पर ढेर कर दिया था, लेकिन मुंबई के स्टार बल्लेबाज़ भी इतने छोटे लक्ष्य को पा नहीं सके और पूरी टीम 87 रन पर ऑल आउट हो गई। मुंबई के बल्लेबाज़ों और गेंदबाज़ों के खेल में भी निरंतरता का भारी अभाव है।
टीम के गेंदबाज़ों जसप्रीत बुमराह, मिशेल मैकक्लेनेगन, हार्दिक पांड्या, मुस्ताफिजुर रहमान, क्रुणाल पांड्या, मयंक मार्कंडेय सभी ने पिछले मैच में कमाल की गेंदबाजी की थी, लेकिन उसके स्टार बल्लेबाज़ भी मैच नहीं बचा पाए। टीम के पास सीमित ओवरों के बेहतरीन भारतीय खिलाड़ी और कप्तान के रूप में रोहित जैसा बल्लेबाज़ है, लेकिन खराब फार्म के कारण मध्यक्रम में खेल रहे रोहित ने अब तक 94 रन की अर्धशतकीय पारी के अलावा 2, 0, 18, 11 और 15 की निराशाजनक पारियां ही खेली हैं।
सूर्यकुमार यादव 38.33 के औसत से 230 रन बनाकर शीर्ष स्कोरर हैं और उनके बाद इशान किशन हैं। टीम इंडिया के स्टार ऑलराउंडर हार्दिक ने भी निचले क्रम पर बड़ा स्कोर नहीं किया है। मुंबई के लिए जहां अपनी बल्लेबाज़ी में खासा सुधार की जरूरत है तो उसे बेहतर रणनीति और डैथ ओवरों में संघर्ष नहीं करने की कमजोरी से भी उबरना होगा। नॉकआउट की होड़ से बाहर होने की कगार पर पहुंच गई पूर्व चैंपियन मुंबई का अगला सामना चेन्नई से है जिसने पिछले मैच में रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु के खिलाफ 206 रन के बड़े लक्ष्य को भी बौना साबित कर दिया।
एक समय 74 रन पर अपने चार विकेट गंवा चुकी चेन्नई की टीम ने अंबाती रायुडू के 82 और फिर सर्वश्रेष्ठ फिनिशर धोनी के नाबाद 70 रन की पारी की बदौलत दो गेंदें शेष रहते ही मैच जीता और साबित कर दिया कि धोनी के मैदान पर रहते हुए चेन्नई को हराना मुश्किल है। दुनिया के सर्वश्रेष्ठ फिनिशर धोनी की टीम में शेन वाटसन, सुरेश रैना, सैम बिलिंग, ड्वेन ब्रावो जैसे कई मैच विजेता खिलाड़ी हैं और मुंबई को जीत के लिए कई गेम प्लान लेकर उतरना होगा जिसके खिलाफ वह आईपीएल-11 के ओपनिंग मैच में एक विकेट से मैच हार गई थी। (वार्ता)