टीम लॉयलटी की बात आती है तो विराट कोहली महेंद्र सिंह धोनी की बात होती है, लेकिन अप्रैल 2013 में ही संजू सैमसन राजस्थान रॉयल्स की टीम में जुड़ गए थे और अब वह इसके कप्तान बन बैठे हैं। इससे पहले वह कोलकाता नाइट राइडर्स की टीम में थे।
साल 2013 में सैमसन को कप्तान द्रविड़ ने तीसरे नंबर पर बल्लेबाज़ी करने को कहा और इस युवा बल्लेबाज़ ने मौके का फायदा उठाकर मैन औफ द मैच का खिताब भी जीता। राजस्थान रॉयल्स से जुड़ने के बाद कप्तान द्रविड़ ने केरल के इस युवा बल्लेबाज़ के टैलेंट को पहचाना और उन्हें मौका दिया।
यहां से ही संजू सैमसन नजर में आए थे। उस वक्त केरल के इस 18 वर्षीय विकेटकीपर का यह दूसरा आईपीएल मैच था। इससे पहले के मैच में सैमसन ने किंग्स इलेवन के खिलाफ नाबाद 27 रन बनाकर मैच विजेता की पारी खेली थी। रॉयल चैलेंचर्स के खिलाफ उन्होंने 63 रन बनाए थे।
बस यहां से संजू और राजस्थान की जोड़ी जैसे स्वर्ग में बनी जोड़ी जैसी हो गई। लेकिन उनको कप्तानी के लिए खासा लंबा इंतजार करना पड़ा। उनको साल 2021 में राजस्थान रॉयल्स की कप्तानी मिली जब स्टीव स्मिथ की रक्षात्मक शैली टीम प्रबंधन के लिए बोझ बन गई थी।
तब से अब तक राजस्थान एक सशक्त टीम बन गई है। साल 2022 में राजस्थान रॉयल्स खिताब जीतने से चूक गई थी। लेकिन पहले से बेहतर दिखाई दे रही थी।
संजू सैमसन ने अब तक आईपीएल में 158 मैच खेले हैं। वह 30 की औसत और 138 की स्ट्राइक रेट से 4152 रन बना चुके हैं। इसमें 23 अर्धशतक और 3 शतक शामिल हैं। उनका सर्वश्रेष्ठ स्कोर 119 का रहा है और 17 बार वह नॉट आउट रहे हैं।
संजू सैमसन और राजस्थान रॉयल्स के 10 सालों से ज्यादा के सफर पर देखिए यह वीडियो-