LIC की लॉन्चिंग के दिन RBI का बड़ा फैसला, बढ़ेगी EMI, शेयर बाजार में हाहाकार

बुधवार, 4 मई 2022 (15:06 IST)
मुंबई। LIC IPO की लॉन्चिंग के दिन भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने बुधवार को प्रमुख नीतिगत दर रेपो को 0.40 प्रतिशत बढ़ाकर 4.40 प्रतिशत कर दिया। मुख्य रूप से बढ़ती मुद्रास्फीति को काबू में लाने के लिए केंद्रीय बैंक ने यह कदम उठाया है। सरकार के इस फैसले से होम लोन, पर्सनल लोन समेत सभी तरह के लोन की EMI बढ़ सकती है।

बहरहाल RBI की घोषणा के तुरंत बाद शेयर बाजार में हाहाकार मच गया। रिजर्व बैंक के रेपो दर बढ़ाने के बाद सेंसेक्स 1,306.96 अंक टूटकर 55,669.03 अंक पर आया। निफ्टी 391.50 अंक के नुकसान से 16,677.60 अंक पर आकर बंद हुआ।
 
रिजर्व बैंक के गवर्नर शक्तिकांत दास ने कहा कि महंगाई दर लक्ष्य की ऊपरी सीमा छह प्रतिशत से ऊपर बनी हुई है। अप्रैल महीने में भी इसके ऊंचे रहने की संभावना है। मार्च महीने में खुदरा मुद्रास्फीति 6.9 प्रतिशत रही। रिजर्व बैंक ने अगस्त, 2018 के बाद पहली बार नीतिगत दर में बढ़ोतरी की है।
 
खुदरा मुद्रास्फीति पिछले तीन महीने से लक्ष्य की उच्चतम सीमा छह प्रतिशत से ऊपर बनी हुई है। आरबीआई को खुदरा महंगाई दर दो प्रतिशत घट-बढ़ के साथ चार प्रतिशत पर बरकरार रखने की जिम्मेदारी मिली हुई है।
 
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Monetary Policy committee voted unanimously to increase policy repo rate by 40 bps to 4.40% with immediate effect. Standing Deposit Facility : 4.15% MSF and Bank Rate:4.65% - Prasar Bharati News Services (@pbns_india) 4 May 2022
तय कार्यक्रम के बिना हुई मौद्रिक नीति समिति (एमपीसी) की बैठक में सभी 6 सदस्यों ने आम सहमति से नीतिगत दर बढ़ाने का निर्णय किया। दूसरी तरफ उदार रुख को भी कायम रखा गया है।

भारतीय रिजर्व बैंक ने बुधवार को नकद आरक्षित अनुपात (सीआरआर) 0.50 प्रतिशत बढ़ाकर 4.5 प्रतिशत कर दिया। यह वृद्धि 21 मई से प्रभावी होगी। इससे बैंकों में 87,000 करोड़ रुपए की नकदी कम होगी। सीआरआर से आशय बैंक की उस जमा से है, जिसे बैंकों को नकद रूप में केंद्रीय बैंक के पास रखने की जरूरत होती है।

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