नई दिल्ली। बीसीसीआई ने आज यहां अपनी आमसभा की विशेष बैठक (एसजीएम) में लोढा समिति की सिफारिशों को आंशिक रूप से स्वीकार कर लिया लेकिन सुशासन को लेकर बड़ी सिफारिशों को खारिज कर दिया जिसमें आयु सीमित करना, कार्यकाल और ब्रेक जैसे मुद्दे शामिल हैं।
उच्चतम न्यायालय के ‘व्यावहारिक कठिनाइयों’ पर 18 अगस्त को सुनवाई के लिए राजी होने के बाद बीसीसीआई ने आयु सीमा (70 साल), ब्रेक (तीन साल) और कार्यकाल (राज्य और बीसीसीआई प्रत्येक में नौ साल) पर विवादास्पद सुधारों को लागू नहीं किया।
पांच सुधारवादी कदम इस प्रकार हैं :
1. सदस्यता से जुड़े मामले, एक राज्य एक मत, रेलवे और सेना जैसे पूर्ण सदस्यों को बरकरार रखना।
4. पदाधिकारियों, मंत्रियों और सरकारी अधिकारियों पर रोक और अयोग्यता, आयु, कार्यकाल और ब्रेक।