भारतीय पिचों पर सात टेस्टों में 31 विकेट लेने वाले मैग्राथ ने कहा, उपमहाद्वीप में आपको न तो उछाल मिलती है और न ही गति मिलती है। वहां पर विकेट लेना मुश्किल होता है। भारतीय पिचों पर नई गेंद से आपको ज्यादा आक्रामक गेंदबाजी करनी होगी और स्लीप और विकेट के पीछे कैच कराना होगा।
मैग्राथ ने कहा, लोग कहते हैं कि मैं ज्यादा आक्रामक गेंदबाजी नहीं करता था, लेकिन मेरा मानना है कि ऑस्ट्रेलिया में मैं आक्रामक फिल्ड प्लेसमेंट के हिसाब से गेंदबाजी करता था और विकेट लेने की कोशिश करता था। अगर भारत दौरे पर अच्छा प्रदर्शन करना है तो हमारे बल्लेबाजों को भी अच्छा प्रदर्शन करना होगा। भारतीय पिचों पर टीम को अपनी रणनीतियों को योजनाबद्ध तरीके से लागू करना होगा। गेंदबाजों को सफल होना है तो उन्हें लंबे स्पैल तक गेंदबाजी करनी होगी।
पूर्व तेज गेंदबाज ने कहा, उपमहाद्वीप में हमारे बल्लेबाज अधिक परेशानी में रहते हैं। वे यह नहीं समझ पाते हैं कि आक्रामक खेल खेला जाए या फिर रक्षात्मक रवैया अपनाया जाए। मेरा मानना है कि मिशेल मार्श ही एक ऐसे गेंदबाज हैं जो टीम के लिए ट्रंप कार्ड साबित हो सकते हैं क्योंकि उनमें 150 किमी प्रति घंटे की स्पीड से गेंदबाजी करने की क्षमता है। (वार्ता)