अश्विन और साहा के शतक, भारत 353 रन पर आउट

गुरुवार, 11 अगस्त 2016 (00:38 IST)
ग्रोस आइलेट। वेस्टइंडीज की टीम ने कार्लोस ब्रेथवेट(नाबाद 53) के अर्धशतक की बदौलत भारत के खिलाफ तीसरे क्रिकेट टेस्ट की अपनी पहली पारी में पलटवार करते हुए दूसरे दिन का खेल समाप्त होने तक एक विकेट के नुकसान पर 107 रन का संतोषजनक बना लिया है। इससे पहले रविचंद्रन अश्विन और रिद्धिमान साहा के शानदार शतकों की मदद से भारत ने वेस्टइंडीज के खिलाफ तीसरे टेस्ट क्रिकेट मैच में बुधवार को यहां अपनी पहली पारी में 353 रन बनाए। अश्विन ने 118 रन की धैर्यपूर्ण पारी खेली। यह टेस्ट मैचों में उनका चौथा शतक है। संयोग से उन्होंने अपने सभी शतक वेस्टइंडीज के खिलाफ बनाए  हैं। साहा (104) ने अपने करियर का पहला शतक लगाया। 
 
अश्विन और साहा ने ने छठे विकेट के लिए  213 रन की साझेदारी की जो वेस्टइंडीज के खिलाफ भारत की तरफ से नया रिकॉर्ड है। यह विदेशी सरजमीं पर छठे विकेट के लिए भारत की दूसरी सबसे बड़ी साझेदारी है। इन दोनों के शानदार प्रयास से भारत पांच विकेट पर 126 रन की खराब शुरूआत से उबरने में सफल रहा। साहा और अश्विन की साझेदारी कितनी महत्वपूर्ण रही इसका अंदाजा इससे लगाया जा सकता है कि इनकी भागीदारी टूटने पर भारत ने आखिरी पांच विकेट 14 रन के अंदर गंवा दिए। वेस्टइंडीज की तरफ से अलजारी जोसेफ और मिगुएल कमिन्स ने तीन-तीन जबकि रोस्टन चेज और शैनोन गैब्रियल ने दो-दो विकेट लिए। 
 
अश्विन ने सुबह काफी धीमी बल्लेबाजी की लेकिन लंच के बाद उन्होंने दूसरे ओवर में ही रोस्टन चेज पर मिड आन पर छक्का जड़कर वर्तमान श्रृंखला का दूसरा शतक पूरा किया। वह वेस्टइंडीज के खिलाफ चार या उससे अधिक शतक जड़ने वाले भारत के छठे बल्लेबाज बन गए हैं। उन्होंने गुंडप्पा विश्वनाथ और वीवीएस लक्ष्मण की बराबरी की जबकि सचिन तेंदुलकर (तीन शतक) को पीछे छोड़ा। 
 
साहा ने भी इसके बाद शतक पूरा करने में देर नहीं लगाई। उन्होंने चेज की गेंद पर दो रन लेकर यह उपलब्धि हासिल की। वह विजय मांजरेकर, अजय रात्रा और महेंद्र सिंह धोनी के बाद चौथे भारतीय विकेटकीपर बल्लेबाज हैं, जिन्होंने विदेशी धरती पर शतक लगाया। भारतीय क्रिकेट में यह पहला अवसर है जबकि छठे और सातवें नंबर के बल्लेबाज शतक जड़ने में सफल रहे। 
 
रविंद्र जडेजा (6) और भुवनेश्वर कुमार (0) ज्यादा देर तक क्रीज पर नहीं टिक पाए। अश्विन की मैराथन पारी का अंत कमिन्स ने किया। उन्होंने शॉर्ट पिच गेंद पर बैकवर्ड प्वाइंट पर आसान कैच थमाया। अश्विन अपनी पारी में 297 गेंदें खेली तथा छह चौके और एक छक्का लगाया। कमिन्स ने इसी ओवर में ईशांत शर्मा को आउट करके भारतीय पारी का अंत किया। इस तरह से भारत ने आखिरी तीन विकेट पांच गेंद के अंदर बिना कोई रन जोड़े गंवाए। 
 
इससे पहले भारत ने सुबह अपनी पारी पांच विकेट पर 234 रन से आगे बढ़ाई। अश्विन तब 75 और साहा 46 रन पर खेल रहे थे। सुबह साहा ने अश्विन की तुलना में अधिक तेजी से रन जुटाए। उनकी वजह से ही भारत सुबह के सत्र में 25 ओवरों में 82 रन जोड़ने में सफल रहा। इनमें अश्विन का योगदान 24 रन का है। अश्विन शुरू से ही धीमा खेल रहे थे। जब वह 92 रन पर थे तब उन्हें पारी का दूसरा जीवनदान भी मिला। उन्होंने आफ स्पिनर रोस्टन चेज की गेंद फ्लिक की जिसे शॉर्ट लेग पर खड़े लियोन जॉनसन कैच नहीं कर पाए। 
 
मिगुएल कमिन्स के अगले ओवर में बैकवर्ड प्वाइंट पर दिन का पहला चौका जड़कर वह 99 रन पर पहुंचे। इसके बाद उन्होंने सात गेंदें और खेली लेकिन पहले सत्र में शतक पूरा नहीं कर पाए। अश्विन और साहा ने इस बीच वेस्टइंडीज की सरजमीं पर भारत की तरफ से छठे विकेट के लिए सर्वाधिक साझेदारी का रिकॉर्ड तोड़ा, जो अब तक दिलीप सरदेसाई और एकनाथ सोलकर के नाम पर था जिन्होंने 1971 में किंगस्टन में 137 रन जोड़े थे। इसके बाद उन्होंने सुनील गावस्कर और रवि शास्त्री के 1983 में वेस्टइंडीज के खिलाफ चेन्नई में बनाई गई 170 रन की साझेदारी को पीछे छोड़ा। (भाषा)

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