कराची। पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड के अध्यक्ष शहरयार खान ने शुक्रवार को कहा कि वह प्रस्तावित भारत- पाक श्रृंखला के आयोजन स्थल को लेकर बीसीसीआई से अन्य प्रस्तावों पर बातचीत को तैयार हैं हालांकि पीसीबी इसका आयोजन संयुक्त अरब अमीरात में कराने का पक्षधर है।
हाल ही में द्विपक्षीय क्रिकेट की बहाली के लिए भारत का दौरा करके लौटे खान ने ‘जियो सुपर’ चैनल से कहा कि बीसीसीआई से इस संबंध में लिखित में आधिकारिक सूचना मिलने के बाद पीसीबी यूएई के अलावा अन्य स्थलों पर भी विचार कर सकती है। बीसीसीआई सचिव अनुराग ठाकुर ने कहा है कि दिसंबर में प्रस्तावित श्रृंखला भारत में भी हो सकती है।
शहरयार ने कहा कि अभी तक भारतीय बोर्ड के अधिकारियों ने लिखित में कुछ नहीं दिया है कि वे श्रृंखला किसी और स्थान पर चाहते हैं। जब वे लिखित में सूचित करेंगे तो हम इस पर विचार करेंगे तथा पीसीबी ने पिछले साल दोनों बोर्ड के बीच हस्ताक्षरित एमओयू में साफतौर पर कहा है कि पहली 6 श्रृंखलाएं यूएई में खेली जाएंगी।
उन्होंने कहा कि हमने एमओयू में यूएई का नाम लिखा है, लेकिन यदि भारतीय बोर्ड अधिकारी कहीं और कराना चाहते हैं तो वे लिखित में सूचित कर सकते हैं। उन्होंने स्वीकार किया कि भारतीय बोर्ड के अधिकारियों ने प्रसारण मसले पर सवाल किए थे चूंकि टेन स्पोर्ट्स चैनल से उनके कुछ मसले हैं। उन्होंने कहा कि पीसीबी इस मसले पर गौर करने को तैयार है।
टेन स्पोर्ट्स सुभाष चंद्रा के एस्सेल समूह का है जिसकी अब भंग हो चुकी बागी इंडियन क्रिकेट लीग शुरू करने के कारण बीसीसीआई से ठनी थी। यह नेटवर्क बागी टी-20 लीग और आईसीसी के समांतर क्रिकेट ढांचा शुरू करने की योजना बना रहा है। बीसीसीआई वहां कोई कामकाजी संबंध नहीं रखना चाहता, जहां एस्सेल समूह शामिल है।
शहरयार ने कहा कि हमारा टेन स्पोर्ट्स के साथ बाध्य करार है लेकिन यदि भारतीय बोर्ड को कुछ आशंकाएं हैं तो हम अपने प्रसारक से बात करेंगे और कानूनी मसलों पर भी गौर करेंगे। उन्होंने कहा कि भारतीय बोर्ड ने प्रसारक को लेकर स्पष्टीकरण मांगा है और हम इस पर गौर करेंगे।
उन्होंने कहा कि टेन स्पोर्ट्स द्वारा प्रसारण का मसला आईसीसी में भी उठा था। शहरयार ने कहा कि भारत दौरे के बाद उन्हें विश्वास है कि दोनों देशों की सरकारें द्विपक्षीय क्रिकेट की बहाली को हरी झंडी देंगी। भारत और पाकिस्तान के बीच 2007 के बाद से पूर्ण द्विपक्षीय श्रृंखला नहीं हुई है।
शहरयार ने कहा कि मुझे सकारात्मक संकेत मिले हैं और मैं भारत इसलिए गया था, क्योंकि जब एमओयू पर हस्ताक्षर हुए थे तब भारतीय बोर्ड और सरकार में सत्ता अलग थी। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के भी द्विपक्षीय क्रिकेट की बहाली का समर्थक होने की खबरें अच्छी हैं। (भाषा)