हमेशा से पता था कि एश्टन अंतरराष्ट्रीय स्तर पर ऐसा कर सकता है : हैंड्सकोंब
सोमवार, 11 मार्च 2019 (14:21 IST)
मोहाली। भारत के खिलाफ यहां चौथे एकदिवसीय अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट मैच में ऑस्ट्रेलिया की रिकॉर्ड जीत में अहम भूमिका निभाने वाले पीटर हैंड्सकोंब को भरोसा था कि युवा एश्टन टर्नर घरेलू क्रिकेट के अपने बड़े शॉट अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी खेलने में सफल रहेंगे।
टर्नर ने रविवार को 43 गेंद में नाबाद 84 रन की पारी खेली जिससे ऑस्ट्रेलिया ने भारत के 359 रन के लक्ष्य को चार विकेट और 13 गेंद शेष रहते हासिल कर लिया और पांच मैचों की श्रृंखला 2-2 से बराबर कर दी।
अब पांचवां और निर्णायक मैच बुधवार को नई दिल्ली में खेला जाएगा। हैंड्सकोंब ने टीम की चार विकेट की जीत के बाद कहा, एश्टन बेहतरीन खिलाड़ी है। पिछले कुछ वर्षों में उसने जो बिग बैश लीग (पर्थ स्कोरचर्स की ओर से) में किया वह हमने देखा है। हमें पता था कि वह काम पूरा कर सकता है। बुमराह के खिलाफ वह जिस तरह खेला वह शानदार था। इस पारी से उसे काफी आत्मविश्वास मिलेगा।
हैंड्सकोंब ने कहा कि टर्नर ने जब बड़े शॉट खेलना शुरू किया तो ड्रेसिंग रूम में सभी अंधविश्वासी हो गए थे। उन्होंने कहा, यह शानदार था। अंधविश्वास के कारण कोई भी अपनी जगह से नहीं हिल रहा था। यह बेहतरीन है। अंतरराष्ट्रीय स्तर पर आकर उसे इस तरह की पारी खेलते हुए देखना शानदार है।
हैंड्सकोंब ने ऑस्ट्रेलिया की इस जीत को अपने करियर की सर्वश्रेष्ठ जीत करार दिया जिससे इंग्लैंड में विश्व कप से पहले उनकी टीम को लय मिलेगी। हैंड्सकोंब ने अपना पहला एकदिवसीय अंतरराष्ट्रीय शतक जड़ा और उस्मान ख्वाजा के साथ 192 रन की साझेदारी की जिसके बाद टर्नर ने तेजतर्रार पारी खेली।
इस बल्लेबाज ने कहा, यह शानदार अहसास है। मेरे पास इस अहसास को बयां करने के लिए शब्द नहीं है। यह मेरे करियर का अब तक का सर्वश्रेष्ठ मैच है। यह जीत हमें निर्णायक मैच और फिर इंग्लैंड में होने वाले विश्व कप के लिए लय देगी। मुझे खुश है कि मैं जीत में योगदान दे पाया।
अपने पहले शतक पर हैंड्सकोंब ने कहा, मैं खुश हूं, मुझे नहीं पता था कि मुझे दोबारा एकदिवसीय अंतरराष्ट्रीय मैच खेलने का मौका मिलेगा या नहीं और यह अजीब है कि कैसे चीजें बदलती हैं। ऑस्ट्रेलिया के लिए दोबारा खेलने का मौका मिलना और इसका फायदा उठाना अच्छा है।
हैंड्सकोंब ने स्वीकार किया कि ओस के कारण भारत के कलाई के स्पिनरों (कुलदीप यादव और युजवेंद्र चहल) को गेंद को स्पिन कराने में दिक्कत हो रही थी जिसके कारण वह और ख्वाजा अपना नैसर्गिक खेल दिखा पाए। (भाषा)