भोपाल। मध्यप्रदेश में चुनावी साल में युवा वोटरों को साधने के लिए आज सरकार ने यूथ पॉलिसी लाने के साथ कई बड़े एलान किए। भोपाल के मोतीलाल नेहरू स्टेडिय में आयोजित यूथ पंचायत में मुख्यमंत्री ने यूथ पॉलिसी का एलान करते हुए कहा यह दुनिया की सबसे बड़ी योजना है। मुख्यमंत्री युवा कौशल कमाई योजना के तहत लर्न एंड अर्न के अंतर्गत युवाओं को 8000 रुपए कम से कम दिए जायेंगे। योजना के लिए 1 जून से रजिस्ट्रेशन शुरु होगा और 1 जुलाई से चयनित युवाओं को पैसा मिलना शुरू हो जाएगा।
युवा कौशल योजना को लॉन्च करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि मध्यप्रदेश सरकार जितने भी बेरोजगार बेटी-बेटी हैं, 12वीं के बाद व इसके अलावा भी जिन्हें लगता है कुछ तो सहारा मिल जाये। उनके लिए मैं योजना की घोषणा कर रहा हूं मुख्यमंत्री युवा कौशल योजना। योजना के तहत अलग-अलग उद्योग में, सर्विस सेक्टर में, चार्टेड अकाउंटेड, ट्रेड, इंडस्ट्री, तकनीकी सेक्टर में युवाओं को ट्रेनिंग दी जाएगी और ट्रेनिंग के दौरान उन्हें 8 हजार रुपए महीना दिया जाएगा।
वहीं कार्यक्रम में मुख्यमंत्री ने कांग्रेस पर कटाक्ष करते हुए कहा कि बेरोजगारी भत्ते से काम नहीं चलेगा। सरकार युवाओं को कुशल बनाने के लिए एक पोर्टल बनाएंगी। जिसमें हम बच्चों को वो सिखाएंगे जिसकी इंडस्ट्री को जरूरत होगी। जब वो सिखाएंगे तो 8000 रुपए दिए जाएगे और कंपनी अलग से पैसा देगी। इसके लिए 1 जून से पोर्टल पर रजिस्ट्रेशन होना शुरू हो जाएंगे। पोर्टल पर उन संस्थानों का नाम भी डालेंगे जिन्हें जॉब देना है। सरकार और कंपनी के पैसे से इतनी तो व्यवस्था हो जाएगी कि वो अपना काम चला सकेगा। बाद में उसे परमानेंट जॉब मिल जाएगी।
सरकारी नौकरियों के लिए एक बार ही भरना होगा परीक्षा शुल्क-इसके साथ मुख्यमंत्री ने प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी करने वाले बेरोजगार युवाओं को बड़ी राहत देते हुए कहा कि “हम एक फ़ैसला और कर रहे हैं, हमारे बच्चों को सरकारी नौकरियों के लिए फार्म भरने पड़ते हैं और अलग-अलग जगह परीक्षा शुल्क अलग अलग लगता है। अब 5 नौकरियों के लिए आवेदन भरा, ₹400 शुल्क है। 400×5 करे तो ₹2000 हो गया। अब केवल एक बार ही परीक्षा शुल्क जमा करना होगा और सभी परीक्षाओं में वो भाग ले सकेंगे। हर परीक्षा के लिए अलग-अलग शुल्क की जरूरत नहीं होगी”। इसके साथ ही कार्यक्रम में मुख्यमंत्री ने मेधावी योजना की आय सीमा को 6 लाख रुपए से बढ़ाकर 8 लाख रुपए महीना करने का एलान किया।
सरकारी स्कूल के बच्चों को नीट में आरक्षण-कार्यक्रम में मुख्यमंत्री ने नीट की परीक्षा की तैयारी करने वाले सरकारी स्कूल के बच्चों को 5 फीसदी आरक्षण देने का एलान भी किया। मुख्यमंत्री ने कहा कि अब नीट के माध्यम से मेडिकल कॉलेज में भर्ती होती है, कई बार सरकारी स्कूलों के बच्चे रह जाते हैं। एक काम हम कर रहे हैं। एक परिवर्तन कर रहे हैं, नीट के रिजल्ट की दो लिस्ट बनेगी। एक सामान्य लिस्ट बनेगी। एक सरकारी स्कूलों के बच्चों के लिए 5 परसेंट का आरक्षण देकर बनाएंगे।