पैरेंट्स को अक्सर लगता है कि बच्चे स्कूल में अच्छा करें यह उनकी भी जिम्मेदारी बनती है। यह जिम्मेदारी चिंता में तब्दील हो जाती है। आपके विचार बच्चे के बिगड़ते भविष्य तक भी पहुंच जाते हैं। और ऐसा न हो इसके लिए सही तरीके से किया गया होमवर्क पहला कदम नजर आने लगता है।
नतीजा आप बच्चे को बार बार होमवर्क करने के लिए कहते हैं। उसकी नोटबुक देखकर जानने की कोशिश करते हैं आखिर आज का काम क्या है। कुछ समझ आता है कुछ नहीं समझ पाते। जानिए आखिर कैसे आप बच्चे को करा सकते हैं होमवर्क आसानी से और डाल सकते हैं उनके कुछ बहुत अच्छी स्टडी आदतें।
1. एक योजना बनाइए
अपने बच्चे के साथ बैठिए और उसके साथ अपनी आगे आने वाले साल के विषय में बातचीत कीजिए। बेहतर होगा एकेडिमिक ईयर की शुरूआत में ही प्लान बन जाए ताकि आपके और बच्चे के पास भरपूर वक्त और मौका रहे। ऐसी इच्छाएं ही रखिए जो हो सकती हैं। जरूरत से अधिक अपेक्षाएं बच्चे पर अतिरिक्त मानसिक बोझ डाल सकती हैं।
अपने बच्चे के कमजोर क्षेत्रों को पहचानें। उसका पिछले साल का रिपोर्ट कार्ड और उसका अनुभव इसमें आपकी मदद करेगा। इस हिस्से पर आपको और बच्चे को अधिक काम करना है।
2. दिन के घंटे बांटिए
आपके बच्चे की पिछले साल भी कुछ दिनचर्या रही होगी। इस बार टाइमटेबल में उन गल्तियों को जगह न दें जो पिछले साल परेशानी का सबब बन गईं थीं। हो सकता है पिछले साल बच्चे का सोने और होमवर्क का समय एक ही हो ऐसे में टीवी के टाइम में कटौती कर थोड़ा पहले होमवर्क करना समझदारीभर होगा।
3. होमवर्क को फन एक्टिविटी बनाने की कोशिश करें
क्या आपका बच्चा पढ़ने से जी चुराता है? ऐसे में आप दूसरे बच्चों के उदाहरण दे देकर उसे इंस्पायर करने की कोशिश करने में उसके मन में जलन और असुरक्षा की भावना पैदा करते हैं। बच्चा न पढ़ने के बहाने ढूंढ़ने लगता है। बच्चे को दूसरे बच्चे के उदाहरण देने के बदले, पढ़ाई को खेल खेल में सिखाने की कोशिश करें। ऐसे नए तरीके खोजने की कोशिश करें जिसमें बच्चे का मन लगे। आप अपने बच्चे को सबसे बेहतर जानते हैं और आप ही उसकी पसंद की एक्टिविटी आसानी से खोज सकते हैं।
4. होमवर्क प्लान का आंकलन करें
एकेडमिक ईयर की शुरूआत में बनाया गया प्लान हो सकता है सही न हो। इस समस्या के उपाय के तौर पर बीच बीच में इस प्लान का मूल्यांकन करें। अपने बच्चे से सलाह मशवरा करें और अगर जरूरी लगता है तो इसमें बदलाव अवश्य करें।
5 . टाइमटेबल फॉलो हो इसका ध्यान रखें
बच्चों को भी काम की अधिकता इतनी होती है कि अगर सही टाइमटेबल मैंटेन नहीं किया जाए तो काम इकट्ठा हो जाता है और समस्या बहुत बढ़ जाती है। होमवर्क सही तरीके से होता रहे इसके लिए जरूरी है कि आप टाइमटेबल फॉलो होने पर ध्यान दें।
6. स्कूल के बाद दें आधे घंटे का ब्रेक
स्कूल से लौटने के बाद बच्चे को आधे घंटे का ब्रेक दें। इस दौरान बच्चा न तो टीवी देखें, न इमेल चेक करें और न हीं वीडियों गेम्स खेलना शुरू करे। अगर बच्चा इन सब में लग जाता है तो वह आधे घंटे के बाद उठने से रहा। बजाय रात में होमवर्क के बच्चे को दिन में अधिकतर काम निपटा लेने के लिए प्रेरित करें। रात में घर के सभी सदस्य घर पर होने से बच्चे का मन टीवी और सभी के साथ बैठने का रहता है। ऐसे में अकेले बैठकर पढ़ना मुश्किल काम है।
7. छुट्टी के दिन पढ़ाई का समय निश्चित करें
सभी को एक ब्रेक की जरूरत होती है। बच्चे भी छुट्टी के दिन फ्री रहना चाहते हैं। ऐसे में टाइमटेबल के हिसाब से चलना नामुमकिन है। आप छुट्टी के दिन के लिए अलग से टाइमटेबल बनाएं। जिससे होमवर्क न रह जाएं और बच्चे को छुट्टी का मजा भी मिले।
8. बच्चे के होमवर्क पर रखें नजर
आपके बच्चे को केवल गणित में अच्छा ही नहीं होना है। अगर बच्चा काफी समय केवल एक ही विषय का होमवर्क करता है तो ध्यान दें कहीं उसे जरूरत से अधिक काम तो नहीं दिया जा रहा। होमवर्क की क्वालिटी पर भी ध्यान दें। होमवर्क ऐसा हो जिसमें बच्चा सीखें।