रामायण एक्सप्रेस में वेटरों की ड्रेस पर बवाल, IRCTC ने लिया बड़ा फैसला

मंगलवार, 23 नवंबर 2021 (07:31 IST)
उज्जैन। रामायण एक्सप्रेस ट्रेन में सवार वेटर की भगवा पोशाक पर बवाल मच गया। उज्जैन के साधु-संतों ने वेटरों की ड्रेस पर आपत्ति जताते हुए ट्रेन को 12 दिसंबर को दिल्ली में रोकने की धमकी दे दी। इस पर IRCTC ने ट्रेन के वेटरों की ड्रेस बदल दी।
 
आईआरसीटीसी ने ट्वीट कर कहा कि सूचित किया जाता है कि इन वेटरों की पोशाक को पूरी तरह से बदलकर अब वेटर की पेशेवर पोशाक कर दिया गया है।’
 
रामायण एक्सप्रेस ट्रेन में सवार वेटर की भगवा पोशाक पर आपत्ति जताते हुए उज्जैन के साधु-संतों ने सोमवार सुबह को कहा था कि यह हिंदू धर्म का अपमान है और धमकी दी कि अगर यह ड्रेस बदली नहीं गई तो वे 12 दिसंबर को दिल्ली में इस ट्रेन को रोकेंगे।
 

Objecting to saffron attire of waiters serving refreshments and food on board the Ramayan Express, seers from Ujjain in Madhya Pradesh claim it is insulting towards Hinduism, threaten to stop the train in Delhi on December 12 if the dress code is not withdrawn

— Press Trust of India (@PTI_News) November 22, 2021
उज्जैन अखाड़ा परिषद के पूर्व महामंत्री अवधेशपुरी ने कहा कि हमने दो दिन पहले केंद्रीय रेल मंत्री को पत्र लिखकर रामायण एक्सप्रेस ट्रेन में वेटर द्वारा भगवा ड्रेस में जलपान और भोजन परोसने के खिलाफ अपना विरोध दर्ज कराया। साधु-संतों जैसे भगवा कपड़े और रुद्राक्ष की माला पहन कर इस ट्रेन में वेटर द्वारा यात्रियों को जलपान और भोजन परोसना हिंदू धर्म और उसके संतों का अपमान है।
 
उन्होंने कहा कि अगर वेटर की भगवा ड्रेस बदली नहीं गई तो दिल्ली के सफदरजंग रेलवे स्टेशन पर साधु-संत इस ट्रेन को 12 दिसंबर को रोकेंगे। रेलवे पटरियों पर बैठेंगे। हिंदू धर्म की रक्षा के लिए यह जरूरी है। हमने उज्जैन में इस मुद्दे पर कड़ा रुख अपनाया है।
 

Finally

Seers from MP had earlier objected to saffron attire of waiters serving refreshments and food on board the Ramayan Express.

Thankfully common sense prevailed.. wonder who comes up with these sort of weird ideas. pic.twitter.com/RdXMX64QUJ

— Vikas Chopra (@Pronamotweets) November 22, 2021
उल्लेखनीय है कि देश की पहली रामायण सर्किट ट्रेन सात नवंबर को सफदरजंग रेलवे स्टेशन से तीर्थयात्रियों को लेकर 17 दिन के सफर पर रवाना हुई थी। यह ट्रेन भगवान राम के जीवन से जुड़े 15 स्थानों पर जाती है। यह ट्रेन 7,500 किलोमीटर से अधिक की दूरी तय करते हुए तीर्थयात्रियों को अयोध्या, प्रयाग, नंदीग्राम, जनकपुर, चित्रकूट, सीतामढ़ी, नासिक, हम्पी और रामेश्वरम जैसे स्थानों पर ले जाएगी।

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