उन्होंने कहा कि नोटबंदी से पहले लगभग 58 प्रतिशत आरक्षित टिकट ऑनलाइन बुक होती थी। अक्टूबर 2016 के बाद से यह संख्या बढ़कर 70 प्रतिशत हो गई है। उन्होंने कहा कि आरक्षित (टिकट) श्रेणी में लगभग तीन से पांच करोड़ लोग ई टिकट के माध्यम से डिजिटल लेन-देन की ओर स्थानांतरित हुए हैं। काउंटरों पर लगभग 30 प्रतिशत यात्री आरक्षित टिकटों को खरीदते हैं। हमने डेबिट और क्रेडिट कार्डों के लिए कार्ड स्वाइपिंग मशीनों को लगाया है।