मुंबई। भारतीय रिवर्ज बैंक ने गुरुवार को आशंका जताई कि कोविड-19 महामारी का संक्रमण लंबे समय तक खिंचा तो उससे घरेलू अर्थव्यवस्था की हालत और पतली हो सकती है। गौरतलब है कि इस महामारी और उससे निपटने के लिए लागू सार्वजनिक पाबंदियों से कारोबार पहले से ही बुरी तरह प्रभावित हुआ है और चालू वित्त वर्ष में बड़ा आर्थिक संकुचन होने का अनुमान है।
दास ने कहा, चालू वित्त वर्ष की पहली छमाही में अनुमान है कि वास्तविक जीडीपी (सकल घरेलू उत्पाद) संकुचन के दौर में रहेगी। पूरे 2020-21 में वास्तविक जीडीपी के गिरने के आसार हैं।उन्होंने कहा कि कोविड-19 जल्दी काबू में आ गया तो इससे आर्थिक संभावनाओं पर अनुकूल प्रभाव हो सकता है।
उन्होंने कहा कि इसके ज्यादा लंबा खिंचने, मानसून सामान्य रहने का अनुमान सही न निकलने और वैश्विक वित्तीय बाजार में उठापटक बढ़ने की स्थिति में घरेलू अर्थव्यवस्था पर बुरा प्रभाव पड़ सकता है। दास ने कहा कि समिति का आकलन है कि वैश्विक अर्थव्यवस्था की स्थिति 2020 की पहली छमाही में कमजोर बनी रही और इसमें छंटनी का रुझान रहा।