शिवसेना के मुखपत्र ‘सामना’ में लिखे एक संपादकीय में कहा गया, 'अभी तक धर्मनिरपेक्ष सरकारों के ‘रबर स्टांप’ ही राष्ट्रपति भवन में रहे हैं। अब राम मंदिर, समान नागरिक संहिता और संविधान के अनुच्छेद 370 जैसे विषयों का समाधान निकालने के लिए जरूरी है कि राष्ट्रपति पद पर कोई हिंदुत्व का रबर स्टांप बैठे।'