पतंग खरीदने के लिए लोग शाम 5 बजे से ही बाजार में आने लगे थे हैं और दुकानें लगभग रात रात 9 बजे तक खुली रहीं। इतना ही नहीं देर रात तक पतंग खरीदने वालों की भीड़ दुकानों पर देखी गई। सबसे दुखद बात यह थी कि यहां पर सोशल डिस्टेंसिंग की धज्जियां उड़ाई गईं। वहीं, बहुत से लोगों ने मास्क भी नहीं लगा रखे थे।
अधिक कीमत देकर पतंगों की खरीद : रायपुर पतंग बाजार में एक ग्राहक ने कहा कि पतंगों की कीमत पिछले साल की तुलना में इस बार अधिक है। उन्होंने बताया कि पतंगबाजी का बहुत शौक है, इसलिए वे ऊंची कीमतों के बावजूद पतंग खरीदने आए हैं। मांझे की कीमत भी अधिक है।
इसी को ध्यान में रखकर गुजरात उच्च न्यायालय में याचिका दायर की गई थी ताकि बाजार में भीड़ न जुटे। हालांकि सरकार ने संक्रांति उत्सव के दौरान नियमों का पालन करने का पूरा भरोसा दिया था, लेकिन भीड़ देखकर ऐसा नहीं लग रहा था कि सरकार ने इसके लिए कोई इंतजाम किया है। आश्चर्य की बात तो यह है कि पूरा बाजार बाजार खड़िया पुलिस स्टेशन के ठीक बगल में है।