Republic Day 2023: गणतंत्र दिवस के बारे में आखिर क्‍या सोचते हैं आज के युवा?

देश इस साल 26 जनवरी 2023 को अपना 74वां गणतंत्र दिवस (74th Republic Day) मनाने जा रहा है। दरअसल, 1950 में संविधान लागू होने के अवसर पर गणतंत्र दिवस मनाया जाता है। इस मौके पर वेबदुनिया ने युवाओं से चर्चा कर जानना चाहा कि आखिर वे गणतंत्र की स्‍थापना के इतने साल बाद देश के बारे में क्‍या सोचते हैं। जानते हैं क्‍या कहते हैं आज के युवा।

अपने अधिकारों के प्रति सजगता हो
मीडिया की स्‍टूडेंट नेहा कौर सासन का कहना है कि गणतंत्र दिवस का महत्व हर भारतीय के लिए सबसे बढ़कर है। एक नागरिक के तौर पर हमें जो पहचान मिली है, उसके लिए राष्ट्र प्रेम और देश का सम्मान करते हुए हमें सदैव कर्तव्य पथ पर अग्रसर रहना चाहिए। हमारे अधिकारों के प्रति सजग और जागरूक रहना चाहिए। देश में भाईचारे, आपसी सहयोग, मिलनसार और देश के विकास की जहां कहीं भी ज़रूरत हो तैयार रहना चाहिए। मैं अपने कर्तव्यों का हमेशा पालन करती हूं और प्रयास करती हूं कि आसपास के साथी और पड़ोसी भी अपने कर्तव्यों और अधिकारों को जाने एवं उसका पालन करें। अपने स्तर पर जागरूकता और गणतंत्र दिवस के साथ ही देश के विकास में योगदान देने का प्रयास निरंतर करती हूं।

संविधान के निर्माताओं को याद करने दिन
स्‍टूडेंट सुदर्शन पाटीदार ने बताया कि देश की आजादी का दिन का हमारे लिए जितना महत्व है उतना ही महत्व गणतंत्र दिवस का भी है। वर्षों की गुलामी के बाद हमने अपना संविधान बनाया और 26 जनवरी 1950 को लागू किया। उस दिन को याद करना इसके महत्व को जानना हमारे लिए महत्वपूर्ण है। कैसे दिन रात एक कर के देश के विद्वानों ने विश्व के सबसे लोकतांत्रिक और लिखित संविधान को प्रस्तुत किया। संविधान के सभी निर्माताओं को याद करने का ये दिन है। भारत को गुलामी की जंजीरों से पूर्णतः मुक्ति दिलाने का ये दिन है,‘जय हिंद’

स्टूडेंट स्वीटी मिश्रा गणतंत्र दिवस मेरे लिए ही नहीं अपितु पूरे भारत देश के लिए ही एक महत्वपूर्ण दिवस है, इसी दिन एक स्वतंत्र गणराज्य बनने और देश में कानून का राज स्थापित करने के लिए 2 नवम्बर 1949 को भारतीय संविधान सभा द्वारा इसे अपनाया गया और 26 जनवरी 1950 को लागू किया गया था। सभी जगह इस दिन स्कूलों, कॉलेजों आदि में कई कार्यक्रम आयोजित किए जाते हैं। भारत के राष्ट्रपति दिल्ली के लाल किले पर भारतीय ध्वज फहराते हैं। यह दिन भारतवासियों के द्वारा एक त्योहार के रूप में मनाया जाता है।

सौम्या जैन ने कहा कि 26 जनवरी यानी की गणतंत्र दिवस हमारे लिए एक महत्वपूर्ण राष्ट्रीय त्योहार है। यह हर एक भारतीय नागरिक को जीने की दिशा प्रदान करता है। इस दिन हमारे देश का संविधान लागू हुआ था। इस दिन अंग्रेजों के कानूनों को हटाकर हमने खुद के संविधान को अपनाया था,  आप सभी को 74 वें गणतंत्र दिवस की हार्दिक शुभकामनाएं।

आदर्श ठाकुर ने बताया कि ‘गणतंत्र’ दो शब्दों से मिलकर बना है, गण और तंत्र। यहां गण का अर्थ जनसमूह या लोगों से है तो तंत्र का अर्थ व्यवस्था या प्रणाली से है। इस तरह संविधान का महत्व और अधिक हो जाता है कि यह आजादी के बाद अंग्रेजों के कानून, नियम–कायदों और शासन–व्यवस्था को न मानते हुए हमारे देश की अपनी शासन, प्रशासन और समाजिक व्यवस्था को बताती एक पुस्तक है।

इंटरनल पोलिटिक्स से देश का नुकसान न हो
मीडिया की स्‍टूडेंट अदिति गेहलोत ने बताया कि अंतरराष्ट्रीय पैमाने पर देश ने काफी तरक्की हासिल की है। मुझे ऐसा लगता है कि इंटरनल पोलिटिक्स की वजह से देश का नुकसान नहीं होना चाहिए। रोजगार, जलवायु परिवर्तन, निवेश, भारत के भविष्य के लिए योजनाएं आदि मुद्दों पर विचार होना चाहिए। जो अपकमिंग जनरेशन है वे ब्रेन-ड्रेन जैसी परिस्थिति का कारण ना बने। स्टार्टअप्स को और ज्यादा बढ़ावा मिलना चाहिए।

मीडिया की पढ़ाई कर रहीं ईशु शर्मा ने कहा कि हमारे देश को पूरी तरह से आज़ादी 15 अगस्त 1947 को नहीं बल्कि 26 जनवरी 1950 को मिली थी, जब हमारे देश में 'भारत सरकार अधिनियम' की जगह भारतीय संविधान लागू हुआ था, क्योंकि भारत के विकास, सम्मान और पहचान के लिए भारतीय संविधान का होना बहुत ज़रूरी है। आज भी हम नफरत, हिंसा, असुरक्षा की जंग लड़ रहे हैं और इस लड़ाई को हम सिर्फ एक मजबूत कानून के ज़रिए ही जीत सकते हैं।

जसकीन कौर सलूजा बताती हैं कि हम सभी के लिए गणतंत्र दिवस सिर्फ एक पर्व ही नहीं, बल्कि गौरव और सम्मान का भी दिन है क्योंकि इस दिन हमारे देश का संविधान लागू हुआ था। हमें सभी वीर स्वतंत्रता सेनानियों के त्याग, बलिदान और शौर्य को सदैव याद रखना चाहिए, ताकि हम गणतंत्र को सही मायने में स्थापित कर सकें। साथ ही हमें अपने देश की ज़िम्मेदारियों को निभाकर भारत के गौरव को बनाए रखना चाहिए।

मोनिका पाण्डेय बताती हैं एक भारतीय होने के नाते मेरे लिए गणतंत्र दिवस के मायने मेरी हर ख़ुशी से बढ़कर है, क्योंकि हमारा संविधान ही है जो भारत के सभी जाति, धर्म, और वर्ग के लोगों को एक दूसरे से जोड़कर रखता है। यह दिन हमारे जीवन में एक विशेष स्थान रखता है क्योंकि इसी दिन हमारा संविधान अस्तित्व में आया था। हमारे अधिकारों और कर्तव्यों को देश के संविधान में सुनिश्चित किया गया है, जो की हमें गौरवान्वित करता है।
edited by navin rangiyal

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