सामाजिक बंधन और व्यक्तिगत स्वतंत्रता में से यदि किसी को चुनना हो तो स्वभावत: आप व्यक्तिगत स्वतंत्रता को ही चुनेंगे। स्वतंत्रता के अर्थ है कि आप क्या खाना-पीना, पहनना और रहना चाहते हैं। यह भी कि आप किससे विवाह करना चाहते हैं, कहां घुमना चाहते हैं और कहां प्रार्थना करना चाहते हैं। यह सभी आपकी निजता और स्वतंत्रता के हिस्से हैं। व्यक्तिगत स्वतंत्रता का अर्थ स्वैराचार नहीं अथवा मैं जो चाहूं करूं अथवा वैसा ही वर्तन करूं, यह भी नहीं।