फेडरर 11वीं बार विंबलडन के फाइनल में, खिताबी टक्कर सिलिच से
शनिवार, 15 जुलाई 2017 (00:30 IST)
लंदन। ग्रास कोर्ट के बेताज बादशाह स्विट्जरलैंड के रोजर फेडरर ने बेहतरीन प्रदर्शन करते हुए चेक गणराज्य के टॉमस बेर्दिच को शुक्रवार को 7-6, 7-6, 6-4 से हराकर 11वीं बार विंबलडन टेनिस चैंपियनशिप के पुरुष एकल के फाइनल में प्रवेश कर लिया, जहां उनका मुकाबला मारिन सिलिच से होगा।
सात बार के चैंपियन फेडरर अब अपना आठवां विंबलडन और 19वां ग्रैंड स्लैम खिताब जीतने से एक कदम दूर रह गए हैं। उन्हें अब क्रोएशिया के मारिन सिलिच की चुनौती पर काबू पाना होगा, जिन्होंने पहले सेमीफाइनल में
पहला सेट हारने के बाद शानदार वापसी करते हुए अमेरिका के सैम क्वेरी को 6-7, 6-4, 7-6, 7-5 से हराकर पहली बार विंबलडन चैंपियनशिप के खिताबी मुक़ाबले में जगह बनाई।
फेडरर ने बेर्दिच को हराने में दो घंटे 18 मिनट का समय लगाया। फेडरर ने पहले दो सेट के टाई ब्रेक 7-4, 7-4 से जीते। उन्होंने तीसरा सेट 6-4 से जीतकर मुकाबला लगातार सेटों में समाप्त कर दिया और 11वीं बार फाइनल में पहुंच गए। फेडरर का सिलिच के खिलाफ 6-1 का करियर रिकार्ड है। 35 वर्षीय फेडरर फाइनल में पहुंचने के साथ ही ओपन युग में विंबलडन के दूसरे सबसे उम्रदराज फाइनलिस्ट बन गए।
इससे पहले सातवीं सीड सिलिच ने 24 वीं सीड क्वेरी के खतरनाक अभियान को सेमीफाइनल में थाम लिया। क्वेरी ने क्वार्टर फ़ाइनल में विश्व के नंबर एक खिलाड़ी और गत चैंपियन ब्रिटेन के एंडी मरे को पांच सेटों में हराकर 42 प्रयासों में पहली बार किसी ग्रैंड स्लेम सेमीफाइनल में जगह बनाई थी।
क्वेरी ने सेमीफाइनल में शानदार शुरुआत की और पहले सेट का टाई ब्रेक 8-6 से जीत किया लेकिन क्रोएशियाई खिलाड़ी ने फिर जोरदार वापसी की और दूसरा सेट 6-4 से जीत लिया। उन्होंने तीसरे सेट का टाई ब्रेक 7-3 से जीता। सिलिच ने चौथे सेट के 12 वें गेम में निर्णायक ब्रेक हासिल किया और मैच दो घंटे 56 मिनट में समाप्त कर फाइनल में जगह बना ली।
28 वर्षीय सिलिच 2001 में गोरान इवानीसेविच के बाद विंबलडन के पुरुष एकल फाइनल में पहुंचने वाले पहले क्रोएशियाई खिलाड़ी बने हैं। इवानीसेविच ने तब वाइल्ड कार्ड रहते हुए खिताब जीता था।
एटीपी टूर के सबसे बेहतरीन हिटर सिलिच ने क्वेरी को हराकर उन्हें 2009 में एंडी रोडिक के बाद पहला अमेरिकी विंबलडन फाइनलिस्ट बनने से रोक दिया। सिलिच ने इस जीत से क्वेरी के खिलाफ अपना करियर रिकॉर्ड 5-0 पहुंचा दिया है। सिलिच ने क्वेरी को इससे पहले विंबलडन में 2013 और 2009 में हराया था।
सिलिच ने इस सत्र में ग्रास कोर्ट पर अपना शानदार प्रदर्शन यहां भी बरकरार रखा। सिलिच ने विंबलडन से पहले क्वींस क्लब में फाइनल और डैन बॉश में सेमीफाइनल तक का सफर तय किया था।
वर्ष 2014 में यू एस ओपन चैंपियन रह चुके सिलिच के पास अब अपना दूसरा ग्रैंड स्लेम ख़िताब जीतने का मौका रहेगा और इसके लिए उन्हें सात बार के चैंपियन रोजर फेडरर और टॉमस बेर्दिच के बीच दूसरे सेमीफाइनल के विजेता से भिड़ना होगा। (वार्ता)