'जैसी माँ वैसे बच्चे' की कहावत को एक अनुसंधान ने भी साबित कर दिया है।
ऑस्ट्रेलिया के अनुसंधानकर्ताओं ने एक अध्ययन किया और पाया कि जिन महिलाओं का गर्भधारण से पहले या गर्भावस्था के दौरान सामान्य से अधिक वजन रहा है उनके बच्चे भी सामान्य से अधिक वजनी या अधिक खाने वाले होते हैं।
अध्ययन रिपोर्ट में कहा गया है कि गर्भावस्था के दौरान माता के खान-पान का असर बच्चे के दिमाग उसके हाव-भाव और शारीरिक ऊर्जा की खपत को प्रभावित करता है। शोधकर्ताओं ने पाया कि अत्यधिक वसायुक्त खाद्य पदार्थों का सेवन करने वाली महिलाएँ सामान्य से अधिक मोटी होती हैं।
शोधकर्ताओं ने सुझाव दिया है कि ऐसी महिलाओं को अधिक खाना खाने या गर्भावस्था के दौरान दो व्यक्तियों के लिए अधिक भोजन करने वाली बात कहने से पहले दोबारा सोचना चाहिए।
समाचार पत्र डेली टेलीग्राफ ने इस शोध के हवाले से कहा है कि इस तरह के बच्चों में किशोरावस्था के दौरान ही मधुमेह के लक्षण प्रतीत होने लगते हैं।