ऑल इंडिया बार काउंसिल परीक्षा में मात्र तीन मौके

बुधवार, 30 मई 2012 (14:37 IST)
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वकालत की प्रैक्टिस के लिए बार काउंसिल ऑफ इंडिया (बीसीआई) द्वारा हर छः महीने में आयोजित ऑल इंडिया बार काउंसिल की परीक्षा देने के लिए अब कानून के छात्रों को मात्र तीन मौके मिलेंगे।

तीन अवसर में भी परीक्षा उत्तीर्ण नहीं करने पर उनका रजिस्ट्रेशन निरस्त कर दिया जाएगा तथा उन्हें वकालत की पात्रता नहीं होगी। यह व्यवस्था दिसंबर 2012 से लागू हो जाएगी। बार काउंसिल ऑफ इंडिया ने सभी विधि संस्थानों व कॉलेजों को इस संबंध में निर्देश जारी कर दिए हैं।

इसके अलावा बीसीआई जल्द ही ऑल इंडिया बार एक्जाम अनिवार्य करने की तैयारी कर रहा है। वर्तमान में कुछ राज्य इसके खिलाफ हैं। गौरतलब है कि सत्र 2009-10 में पहली बार आयोजित परीक्षा 22 हजार 282 उम्मीदवार शामिल हुए थे, वहीं जुलाई 11 में दूसरी परीक्षा कुल 11 हजार 752 उम्मीदवार तथा जनवरी 2012 में आयोजित तीसरी परीक्षा में 23 हजार 452 परीक्षा में शामिल हुए थे।

छात्रों को मिलेगा यूआईएन
इसके अलावा बीसीआई ने कानून की प़ढ़ाई में नए बदलाव की योजना बनाई है। सितंबर 2012 से बीसीआई सभी लॉ स्टूडेंट्स व वकीलों को यूनिक आइडेंटिफिकेशन नंबर (यूआईएन) देने जा रहा है। प्रत्येक लॉ स्टूडेंट को एडमिशन के दौरान ही यह नंबर दे दिया जाएगा, जो उसके पास ताउम्र रहेगा।

यह नंबर एक तरह से वकीलों के लिए चलाई जाने वाली कल्याणकारी योजनाओं जैसे मेडिकल क्लेम, वेलफेयर फंड, इंश्योरेंस स्कीम, पेंशन आदि को मजबूत बनाने के काम आएगा।

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