महाशिवरात्रि : कामना पूर्ति के लिए ऐसे करें रात्रि पंच महापूजन

सोमवार के दिन शिवरात्रि का होना शुभफलदायी माना जाता है। इस दिन व्रत करने वालों को सफेद बालू रेत के पार्थिव शिवलिंग बनाकर फल, पुष्प, चंदन, बिल्वपत्र, धतूरा, धूप, दीप और नैवेद्य आदि षोडश उपचार से महारात्रि को पांच बार पूजा करनी चाहिए। 
 

 
दूध, दही, घी, शहद और शक्कर से अलग-अलग तथा सबको एक साथ मिलाकर पंचामृत से शिव को स्नान कराकर जल से अभिषेक करें। चारों प्रहर के पूजन में शिव पंचाक्षर 'ॐ नमः शिवाय' मंत्र का जप करें। भव, शर्व, रुद्र, पशुपति, उग्र, महान, भीम और ईशान, इन आठ नामों से बिल्वपत्र, सफेद आकड़े के पुष्प, विशेष कर भस्म, इत्र, रुद्राक्ष, एवं नीलकमल अर्पित कर भगवान की आरती और परिक्रमा करें।

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किस कामना के लिए क्या करें 


 
 
 
मृत्युतुल्य रोग और कष्ट मुक्ति के लिए- मृत्युंजय मंत्र का जप करें। 
 
 
चन्द्र और शुक्र शांति के लिए- खीर का भोग लगाएं। मोती, चांदी, हीरा, शकर चढ़ाकर दान दें। 
 
सौभाग्य प्राप्ति के लिए- व्रत कर, शिव जप, पांच बार पूजन करें। 


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