15 दिसंबर को शुक्रास्त, 3 फरवरी तक नहीं होंगे विवाह
पौष कृष्ण प्रतिपदा के साथ ही पौष मास आरम्भ हो गया है। वहीं 15 दिसंबर 2017 से शुक्र का तारा अस्त हो गया है, जो 3 फरवरी 2018 को पश्चिम दिशा में उदित होगा। पौष मासारम्भ और शुक्रास्त के चलते अब से लेकर 3 फरवरी 2018 तक विवाह मुहूर्त नहीं बनेगा। विवाह मुहू्र्त में शुक्र का बहुत महत्व होता है। शुक्र को नैसर्गिक भोग-विलास एवं दाम्पत्य का स्थिर कारक माना जाता है। अत: विवाह वाले दिन शुक्र के तारे का उदित स्वरूप में होना आवश्यक होता है।
शास्त्रानुसार शुक्र के अस्त होने पर विवाह का निषेध बताया गया है। शुक्रास्त के समय विवाह करना दाम्पत्य सुख से वंचित कर सकता है। अत: शुक्र के उदय होने पर ही विवाह करना श्रेयस्कर होता है। पौष मास को भी विवाह के लिए अशुभ व निषिद्ध माना गया है। पौष मास में विवाह करना शुभ नहीं माना जाता। अत: पौष मास व शुक्रास्त के चलते आगामी 3 फरवरी 2018 तक विवाह मुहूर्त का निषेध रहेगा।