उल्लेखनीय है कि रोहिणी नक्षत्र आकाश मंडल में चौथा नक्षत्र है। यह वृषभ राशि में चारों चरणों में रहता है। उसकी चारों चरणों में बनने वाले नाम ओ, वा, वी, व है। राशि स्वामी जहाँ शुक्र है, वहीं नक्षत्र स्वामी चंद्रमा है। इस राशि वालों के जीवन में इनके ग्रहों का विशेष महत्व रहता है। ऐसा माना जाता है कि यह नक्षत्र संपन्नता, शांति और मोक्ष प्राप्त करने की शक्ति प्रदान करता है।
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