वर्ल्‍ड बुक डे : कल्पना और शब्दों की जादुई दुनिया

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कहते हैं बुक्‍स इंसान की सबसे अच्‍छी फ्रेंड होती हैं। ये न कुछ माँगती हैं न ही पलट के जवाब देती हैं। और खर्चा भी आपसे सि‍र्फ एक बार ही कराती हैं वरना वैसे आपके फ्रेंड्स रोज ही आपकी जेब खाली करवाते होंगे। वेलेंटाइन डे और फ्रेंडशि‍प डे तो आप सभी को पता होगा लेकि‍न आज बुक डे है ये शायद आपमें से कई लोग न जानते हों। हाँलाकि‍ बुक पढ़ने वालों के लि‍ए बुक डे कब है ये जानना उसी तरह जरूरी नहीं है जि‍स तरह सच्‍चे दोस्‍तों के लि‍ए फ्रेंडशि‍प डे की खबर रखना। 


वो तो ये सब टीवी, पेपर और बाजार वाले बोलकर और दि‍खाकर दि‍माग में भर देते हैं कि‍ आज फ्रेंडशि‍प डे है...आज फ्रेंडशि‍प डे है। बुक तो आप लोग डेफि‍नि‍टली पढ़ते होंगे कई लोग तो अपनी फेवरेट बुक्‍स का कलेक्‍शन भी रखते हैं। इसके लि‍ए आपने बुक शेल्‍फ भी बना रखी होगी। लेकि‍न आपको शायद ही कभी अपनी बुक शेल्‍फ को सलीके से रखने का टाइम मि‍ल पाता होगा या शायद आपको तरीका मालूम न हो। या शायद आप सबसे अच्‍छी इस फ्रेंड्स को टेकन फॉर ग्रांटेड लेते होंगे, है ना।

तो क्‍यों न आज बुक डे पर एक नजर अपनी बुक शेल्‍फ पर डाल लें जो ना जाने कब से अपने सँवरने का इंतजार कर रही है। ज्‍यादा टाइम नहीं लगेगा। यहाँ हम स्‍पेशली आपके लि‍ए आपकी बुक शेल्‍फ को ठीक ठाक करने की टि‍प्‍स दे रहे हैं। इनको आजमाएँगे तो आपकी ये टेकन फॉर ग्रांटेड दोस्‍त बहुत खुश हो जाएँगी।

बुक्‍स हों नो एंट्री जोन में
बुक्‍स की शेल्‍फ ड्राइंग रूम में न बेडरूम में रखें। यहाँ आपकी प्रायवेसी ज्‍यादा मेंटेन रहती है। कि‍ताबें पढ़ने के लि‍ए पीसफुल एनवायमेंट की जरूरत होती है। ड्रॉइंग रूम में कभी भी कोई भी एंट्री मार सकता है इसलि‍ए बेहतर है कि‍ या तो बेडरूम को अपना रीडिंग रूम बनाएँ या अगर कोई अलग रूम हो तो बहुत ही अच्‍छा। बुक्‍स की अलमारी में 'बुकमार्क' भी रखें।

शेल्‍फ को मेंटेन रखें
शेल्‍फ के पास एक स्‍टूल भी रखें ताकि‍ बुक्‍स नि‍कालने में आसानी रहे। शेल्‍फ में बुक्‍स जमाने से पहले पेस्‍टीसाइड छि‍ड़कें, इससे बुक्‍स में कीड़े नहीं लगेंगे। बुक्‍स रखने से पहले उसमें पेपर बि‍छाएँ हो सके तो अमृत-वचन के वॉलपेपर्स लगाएँ और उसमें थोड़ा टेल्कम पावडर छिड़कें। अलमारी के दरवाजे अगर काँच के हैं तो बहुत अच्‍छा।

बुक्‍स को रखें सलीके से
बुक्‍स पर कवर चढ़ाएँ। ये कवर ब्राउन पेपर्स से लेकर प्लास्टिक के चिकने कवर भी हो सकते हैं। बुक्‍स पर लेबल लगाएँ। लेबल पर पुराने कैलेंडर से अंक काटकर क्रमानुसार चिपकाएँ। मैगजीन्‍स और बुक्‍स को अलग-अलग जगह पर रखें। बुक्‍स या तो सब्‍जेक्‍ट के अनुसार डि‍वाइड करें या ऑथर्स के अनुसार।
 
 
रजि‍स्‍टर मेंटेन करें
एक रजिस्टर बनाएँ, इसमें बुक्‍स पर अंकित नंबर लिखें, उसके सामने बुक्‍स का नाम तथा लेखक का नाम लिखें। इससे आपकी बुक कभी गुम नहीं होगी।

बुक्‍स के आसपास
बुक शेल्फ के पास पुराने ग्रीटिंग कार्ड, जन्मदिन के कार्ड सजाकर लगाए जा सकते हैं। जहाँ बुक शेल्फ हो, वहाँ एक आरामकुर्सी भी हो तो क्‍या बात है। बुक शेल्फ के नजदीक टेबल-कुर्सी पर नाइट-लैंप की व्यवस्था भी होनी चाहिए। बुक शेल्फ के पास ही सीडी और कैसेट्‍स कलेक्शन होगा तो बुक्‍स ढूँढते हुए या शेल्‍फ जमाते समय म्‍यूजि‍क सुना जा सकता है। इससे आप सर्चिंग करते समय बोर नहीं होंगे और शेल्‍फ की भी सफाई बोझ नहीं लगेगी।