ऐसे लाएं इकोनॉमिक्स में ज्यादा अंक

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दुनिया के आर्थिक कारोबार से लेकर घरेलू बजट को समझने के लिए अर्थशास्त्र का ज्ञान जरूरी है। इसी कथन से इस विशिष्ट सब्जेक्ट के महत्व को समझा जा सकता है। अगर इस विषय को हम आस पास घट रही रोजमर्रा की जिंदगी से जुडी विभिन्न घटनाओं से जोड़कर देखने की कोशिश करें तो काफी हद तक यह विषय न सिर्फ दिलचस्प बल्कि आसान भी लगने लगेगा।

युवाओं में इस विषय के प्रति अरुचि पैदा होने का सबसे बड़ा कारण यही है कि इसे महज शुष्क सैद्धांतिक विषय के रूप में स्कूलों और कॉलेजों में पढ़ाया जाता है। अब बारहवीं के अर्थशास्त्र की परीक्षा में इतना समय नहीं है कि दिलचस्पी पैदा करने का प्रयास किया जाए। आइए बात करते हैं इस कम समय में ज्यादा अंक जुटाने के कुछ आजमाए हुए फार्मुलों पर।

सामान्य गलतियां:-
- टेक्स्ट बुक्स से समझे बिना कंसेप्ट्स को रटने की कोशिश

- इकोनॉमिक्स के टर्म्स की सही परिभाषाओं को समझने की कोशिश नहीं करना।

- बिना नोट्स तैयार किए अथवा टीचर्स द्वारा दिए गए नोट्स को नजर-अंदाज करते हुए परीक्षा की तैयारी

- सैम्पल पेपर्स से उत्तरों के मुख्य बिंदु लिखे बिना तैयारी

- सहपाठी से मदद लेने में हिचकिचाहट

कैसे सुधारें :-
- अगर आप सीबीएसई द्वारा जारी पेपर के पैटर्न पर नजर डालें तो स्पष्ट हो जाता है कि लगभग तीन चौथाई प्रश्न महज चार यूनिट्स से आते हैं। इनके नाम हैं कंज्यूमर इक्किलिब्रियम एंड डिमांड, प्रोड्यूसर बिहेवियर एंड सप्लाई, नेशनल इनकम और डिटरमिनेशन ऑफ इनकम एंड एम्प्लायमेंट। अंतिम समय में इन चार चैप्टर्स को फोकस करने भर से आपकी मुश्किलें काफी आसान हो जाएंगी।

- माइक्रो और मैक्रो इकोनॉमिक्स के अंकों का लगभग समान मान होता है। माइक्रो इकोनॉमिक्स में न्यूमेरिकल्स तथा ग्राफ्स आदि के कारण ज्यादा अंक स्कोर करना आसान कहा जा सकता है। लेबल के साथ ग्राफ्स होने जरूरी हैं।

- स्कूल के पिछले कलास टेस्ट्स के पेपर्स को अवश्य पढ़ कर जाए।

- ये नहीं भूलें कि न्यूमेरिकल्स के 20 से ज्यादा अंक हैं इसलिए इनकी प्रैक्टिस जितनी संभव हो अवश्य करें। ये ज्यादा मुश्किल नहीं होते तथा अंक भी पूरे मिल जाते हैं।

- एनसीईआरटी की टेक्स्ट बुक्स से विभिन्न चैप्टर्स के महत्वपूर्ण अंशों पर नजर डालना नहीं भूलें।

- उत्तर लेखन में ताजा आर्थिक आंकड़े इंटरनेट से जुटाए जा सकते हैं।

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