4. महर्षि वर्तन्तु ने अपने शिष्य कौत्स से दक्षिणा में 14 करोड़ स्वर्ण मुद्राएं मांग ली। तब कौत्स ने राजा रघु से इस संबंध में मदद मांगी क्योंकि उसके पास तो इती स्वर्ण मुद्राएं नहीं थी। राजा रघु को कुबेर के खजाने को प्राप्त करने के लिए स्वर्ग पर आक्रमण करने की योजना बनाए यह जानकर इंद्र ने शमी वृक्ष के माध्यम से राजा रघु के राज्य में स्वर्ण मुद्राओं की वर्षा करदी दी थी।