उल्लेखनीय है कि इसके पहले भी कर्नाटक और गुजरात में भाजपा के चक्रव्युह को तोड़ने के लिए डीके शिवकुमार को ही कमान सौंपी गई थी। 2018 में भाजपा द्वारा कर्नाटक में विधायकों को अपने पाले में लाने का मंसूबा नाकाम करने वाले शिवकुमार ने सचिन पायलट को मनाने और राजस्थान में कांग्रेस सरकार को बचाने में भी बड़ी भूमिका निभाई थी।
वे वर्तमान में कनकपुरा निर्वाचन क्षेत्र से विधानसभा क्षेत्र के सदस्य हैं। हालांकि कर्नाटक के अन्य राजनेताओं की तरह उन पर शंथिनगर हाउसिंग सोसाइटी घोटाले में, अवैध खनन मामले सहित अन्य भ्रष्टाचार के आरोप लगते रहे हैं।
पिछले अनुभव और हालिया एग्जिट पोल के बाद कांग्रेस को डर है कि कहीं 2017 की कहानी दुहराई न जाए। इसलिए सभी उम्मीदवारों को नतीजों के दो दिन पहले से ही होटल में रखा गया है। पी. चिदंबरम, गोवा कांग्रेस प्रभारी दिनेश गुंडु राव, सहित विपक्ष के नेता दिगंबर कामत और राज्य कांग्रेस अध्यक्ष गिरीश चोडनकर पणजी में इनके साथ ही डटे हुए हैं।