श्रीमती सुमित्रा महाजन ने निर्मला जी की किताब को लोकार्पित करते हुए कहा कि मैं निर्मला जी की लेखनी से वाक़िफ़ हूं। नईदुनिया में सामाजिक मुद्दों पर उनके विचार पढ़ती रही हूं। श्रीमती महाजन ने कहा कि मैंने इस उपन्यास के पात्रों को नंदलालपुरा में रहते हुए महसूस किया है और उनकी मदद भी की है। ह्यूमन ट्रैफिकिंग की समस्या को निर्मला जी ने बड़ी गंभीरता से उठाया है और आज दौर की मांग भी है। लोकसभा अध्यक्ष ने लेखिका को बधाई देते हुए कहा कि समाज में इस तरह के विषयों पर लिखने की शुरूआत अच्छी बात है।