होली 2022 : इस होली नेचरल कलर्स की पोटली कैसे बनाएं, त्योहार का रंग जम जाए
Holi Natural Colours
होली-धुलेंड़ी (Holi Celebration 2022) का पर्व नजदीक आ रहा है। पिछले 2 साल से कोरोना के चलते होली का वह माहौल नहीं बन पाया था, जिससे कि सभी तरफ रंगों की रंगबिरंगी खुशियां बिखरी हुई दिखाई दें। इस बार युवा वर्ग होली मनाने के लिए रोमांचित है और बिना रंग के होली (Holi Festival of India) की कल्पना ही नहीं की जा सकती है।
ऐसे में होली तो हम बाजार से कलर्स खरीद कर भी खेल लेंगे, लेकिन मुश्किल यह है कि उन रंगों में जो केमिकल पाए जाते हैं, वे हमारी त्वचा, आंखों और सेहत के लिए हानिकारक होते हैं। तो आइए हम आपको यहां बता रहे हैं नेचरल कलर्स (Natural Colours) यानी प्राकृतिक रंग बनाने की विधियां, जिससे आप आकर्षक व चटकीले रंगों को घर पर ही तैयार करके उसकी सुंदर-सुदर पोटलियां और रंगबिरंगी कलर्स के गुब्बारे बना सकते हैं और होली का खूब मजा लूट सकते हैं।
जानिए यहां-
- टेसू (पलाश) के फूलों को रातभर पानी में भिगो कर बहुत ही सुंदर नारंगी रंग बनाया जा सकता है। कहते हैं भगवान श्रीकृष्ण भी टेसू के फूलों से होली खेलते थे। टेसू के फूलों के रंग को होली का पारंपरिक रंग माना जाता है।
- नेचरल कलर बनाने के लिए आप गुलमोहर की पत्तियों को सुखाकर, महीन पावडर कर लें, इसे आप हरे रंग की तरह इस्तेमाल कर सकते हैं।
- जासवंती के फूलों को सुखाकर उसका पावडर बना लें और इसकी मात्रा बढ़ाने के लिए आटा मिला लें। सिन्दूरिया के बीज लाल रंग के होते हैं, इनसे आप सूखा व गीला लाल रंग बना सकते हैं।
- दो चम्मच मेहंदी को एक लीटर पानी में मिलाकर अच्छी तरह से हिलाएं। पालक, धनिया और पुदीने की पत्तियों का पेस्ट पानी में घोलकर गीला हरा रंग बनाया जा सकता है।
- चुकंदर को किस लें और इसे एक लीटर पानी में भिगो दें। बहुत ही अच्छा गुलाबी रंग तैयार हो जाएगा। गहरे गुलाबी रंग के लिए इसे रातभर भिगो कर रखें।
- हरसिंगार के फूलों को पानी में भिगो कर भी नारंगी रंग बनाया जा सकता है।
- जामुन को बारीक पीस लें और पानी मिला लें। इससे बहुत ही सुंदर नीला रंग तैयार हो जाएगा।
- अमलतास, गेंदा व पीले सेवंती के फूलों से भी पीला रंग बनाया जा सकता है। फूलों की पंखुड़ियों को छांव में सुखाकर महीन पीस लें। इसमें बेसन मिला सकते हैं या सिर्फ ऐसे ही उपयोग कर सकते हैं।
- दो छोटे चम्मच लाल चंदन पावडर को पांच लीटर पानी में डालकर उबालें। इसमें बीस लीटर पानी और डालें। अनार के छिलकों को पानी में उबालकर भी लाल रंग बनाया जा सकता है।
- बुरांश या बुरांस के फूलों को रातभर पानी में भिगो कर भी लाल रंग बनाया जा सकता है, लेकिन यह फूल सिर्फ पहाड़ी क्षेत्रों में पाया जाता है।
- जकरंदा के फूलों की पंखुड़ियों को छांव में सुखाकर बारीक पीस लें। ये फूल गर्मियों के मौसम में खिलते हैं। केरल में नीला जासवंती मिलता है, इसके फूलों से आप नीला रंग बना सकते हैं।
- पलिता, मदार और पांग्री में लाल रंग के फूल लगते हैं। ये पेड़ तटीय क्षेत्रों में पाए जाते हैं। फूलों को रातभर में पानी में भिगो कर बहुत अच्छा लाल रंग बनाया जा सकता है।
- सूखे मेहंदी पावडर को आप हरे रंग की तरह इस्तेमाल कर सकते हैं। सूखी लगाने पर इसे यूं ही हाथ से साफ किया जा सकता है। गीली मेहंदी से त्वचा पर रंग रह जाने का डर रहता है, इसलिए इसे बालों पर लगाने से ज्यादा फायदा होगा। इसे बेझिझक किसी के बालों पर भी लगा सकते हैं।
- सूखे लाल चंदन को आप लाल गुलाल की तरह इस्तेमाल कर सकते हैं। यह सुर्ख लाल रंग का पावडर होता है और त्वचा के लिए अच्छा होता है।
- एक चुटकी चंदन पावडर को एक लीटर पानी में भिगो देने से नारंगी रंग बनता है।
- एक चम्मच हल्दी को दो लीटर पानी में मिलाकर अच्छे से मिला लें। गाढ़े पीले रंग के लिए आप इसे उबाल भी सकते हैं। पचास गेंदे के फूलों को दो लीटर पानी में मिलाकर उबालें व रात भर भीगने दें। सुबह तक बहुत ही खूबसूरत पीला रंग तैयार हो जाएगा।
अत: अगर आपने ऊपर दिए गए रंगों की जानकारी के अनुसार रंग बना लिए हैं तो अब उनकी अलग-अलग पोटली बना लें और और गुब्बारों में रंगबिरंगी रंग भरकर तैयार कर लें तथा होली के खास मौके पर इन नेचरल कलर्स का आनंद लें।