कैसे मनाते हैं धुलेंडी:
1. रंगवाली होली: पहले यह होता था कि धुलेंडी के दिन सुबह के समय लोग एक दूसरे पर कीचड़, मिट्टी, मुलतानी मिट्टी या धूल लगाते थे, जिसे धूल स्नान कहते हैं। पुराने समय में शाम के समय धुलेंडी के दिन टेसू के फूलों का रंग बनाकर एक दूसरे पर लगाया जाता था। अब यह नहीं होता है।