जामफल के औषधीय गुण

जामफल के पत्तों को पानी में उबालकर पत्ते अलग कर लें और इस पानी को ठंडा करके इसमें फिटकरी मिला लें, इस पानी से कुल्ला करने पर दाँतों का दर्द कम होता है।

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200 ग्राम बीजरहित जामफल सुबह खाली पेट खाने और एक गिलास ठंडा पानी पीने से जमा हुआ पुराना जुकाम बहकर निकलने लगता है।

ताजे कच्चे जामफल को पत्थर पर घिसकर उसका एक सप्ताह तक लेप करने से आधासीसी का दर्द समाप्त हो जाता है। यह प्रयोग सुबह किया जाना चाहिए।

जामफल के ताजे पत्तों का रस 10 ग्राम और पिसी मिश्री 10 ग्राम मिलाकर 21 दिन तक सुबह खाली पेट सेवन करने से भूख खुलकर आती है।

जामफल के पत्तों का रस पिलाने से भाँग का नशा खत्म हो जाता है। धतूरा खा लेने पर भी जामफल के पत्तों का रस पिलाया जाता है।

ताजे जामफल के 100 ग्राम बीजरहित टुकड़े लेकर उसे ठंडे पानी में चार घंटे तक भीगने दीजिए, फिर जामफल के टुकड़े निकालकर पानी को मधुमेह के रोगियों को पिलाने से लाभ होता है। यही पानी बहुमुत्र के रोगियों के लिए भी फायदेमंद है।

यूँ हर दिन हर जामफल खाना भी लाभप्रद होता है।

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