इस प्रोजेक्ट को आगे बढ़ाने के लिए बर्लिन की PTScientists के साथ ये कंपनियां काम कर रहीं हैं। इस प्रोजेक्ट के माध्यम से चांद पर 4G नेटवर्क की शुरुआत की जाएगी। पहले इन कंपनियों ने चांद पर 5G इन्टरनेट सर्विस की शुरुआत करने का प्रयास किया था लेकिन 5G इन्टरनेट सर्विस की कम स्टेबिलिटी के कारण यह लूनर सरफेस पर ठीक से काम नही कर पा रही है।
यह कहना गलत न होगा कि चांद पर मानव बस्ती के बसने से पहले मोबाइल सर्विस वहां पहुंच जाएगी। नासा के चंद्रमा पर मनुष्य के कदम रखने के पहले अभियान के 50 साल बाद यह बड़ी उपलब्धि मिलने वाली है। वोडाफोन ने इसके लिए नोकिया को अपना टेक्नोलॉजी सहयोगी बनाया है। नोकिया चांद पर एक स्पेस ग्रेड नेटवर्क का विकास करेगा, जो कि एक सुगर क्यूब से कम वजन का हार्डवेयर होगा।
इस प्रोजेक्ट पर बर्लिन की पीटीएस साइंटिस्ट के साथ मिलकर सभी कंपनियां काम कर रही हैं। विदित हो कि यह प्रोजेक्ट 2019 में स्पेसएक्स फाल्कल 9 रॉकेट के द्वारा केप कैनावेराल, फ्लोरिडा से लॉन्च किया जाएगा। वोडाफोन के एक अधिकारी का कहना है कि चांद पर 4जी नेटवर्क शुरू किया जाएगा, 5 जी नहीं क्योंकि 5जी को लेकर अभी कई जगह टेस्ट ही चल रहे हैं और उस पर भरोसा नहीं किया जा सकता है कि चांद की सतह पर वह कारगर रहेगा या नहीं।