आज हमारी यह सहभागिता कहीं अधिक मजबूत, विश्वसनीय और स्थायी है, जो कि निरंतर बढ़ रही है। पहले की अपेक्षा आज द्विपक्षीय सहभगिता के माध्यम से दोनों देशों के बीच कहीं अधिक सहयोग है। यह सहयोग न केवल संघीय स्तर पर है, बल्कि राज्य और स्थानीय स्तर पर भी है। दोनों देशों की सेनाओं, निजी क्षेत्रों, सिविल सोसायटी के स्तर पर भी हम परस्पर सहयोगकर रहे हैं। वर्ष 2000 में तत्कालीन प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी ने घोषित किया था कि हम स्वाभाविक सहयोगी राष्ट्र हैं। उसके बाद के तमाम वर्षों में हमारे बीच परस्पर सहयोग निरंतर बढ़ा है। शोध परियोजनाओं पर दोनों देशों के छात्र मिलकर काम कर रहे हैं, हमारे वैज्ञानिक अत्याधुनिक तकनीकों का विकास कर रहे हैं और वैश्विक मुद्दों पर वरिष्ठ अधिकारी निकट संबंध बनाकर काम कर रहे हैं। हमारी सेनाएं वायु, जमीन और समुद्र में एक-दूसरे के साथ संयुक्त अभ्यास कर रही हैं और अंतरिक्ष परियोजनाओं में विभिन्न क्षेत्रों में हम परस्पर सहयोग कर रहे हैं। इस तरह धरती से लेकर मंगल ग्रह तक हमारे बीच सहभागिता है। इस तरह के सहयोग से भारतीय-अमेरिकी समुदाय काफी उत्साहित है और वह दोनों देशों के बीच सेतु का काम कर रहा है। हमारी यह सफलता एक-दूसरे पर विश्वास और