मोदी G7 के वार्षिक शिखर सम्मेलन के लिए 19 मई से 21 मई तक हिरोशिमा में रहेंगे, जिसमें उनके खाद्य, उर्वरक और ऊर्जा सुरक्षा समेत विश्व के सामने मौजूद चुनौतियों पर अपने विचार रखने की संभावना है।
मोदी जी7 शिखर सम्मेलन में भाग लेने वाले विश्व के कुछ नेताओं के साथ द्विपक्षीय बैठक भी कर सकते हैं। जी7 में जापान, अमेरिका, ब्रिटेन, फ्रांस, जर्मनी, कनाडा और इटली के साथ-साथ यूरोपीय संघ शामिल हैं।
प्रधानमंत्री मोदी, जापान से पोर्ट मोरेस्बी जायेंगे, जहां वह 22 मई को पापुआ न्यू गिनी के प्रधानमंत्री जेम्स मारपे के साथ फोरम फॉर इंडिया-पैसिफिक आइलैंड्स को-ऑपरेशन (एफआईपीआईसी) के तीसरे शिखर सम्मेलन की संयुक्त रूप से मेजबानी करेंगे।
प्रधानमंत्री अपनी यात्रा के तीसरे और अंतिम चरण में 22 से 24 मई तक ऑस्ट्रेलिया में होंगे। क्वाड सम्मेलन पहले सिडनी में होना था, लेकिन अब यह हिरोशिमा में होगा, क्योंकि अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन ने वाशिंगटन में महत्वपूर्ण कर्ज-सीमा वार्ता पर ध्यान केंद्रित करने के लिए अपना वहां का दौरा स्थगित कर दिया था।
व्हाइट हाउस के मुताबिक, अमेरिका, भारत, ऑस्ट्रेलिया और जापान के क्वाड नेता इस बात पर चर्चा करेंगे कि कैसे वे महत्वपूर्ण और उभरती प्रौद्योगिकियों, उच्च गुणवत्ता वाले बुनियादी ढांचे, वैश्विक स्वास्थ्य, जलवायु परिवर्तन, समुद्री क्षेत्र में जागरूकता और हिंद प्रशांत क्षेत्र के लोगों के लिए मायने रखने वाले अन्य मुद्दों पर अपने सहयोग को मजबूत कर सकते हैं।