1. पंजे लम्बे और लचीले हो जाते है व शिकार पर पकड़ बनाने में अक्षम होने लगते हैं।
2. चोंच आगे की ओर मुड़ जाती है और भोजन निकालने में व्यवधान उत्पन्न करने लगती है।
उसके पास तीन ही विकल्प बचते हैं :-
या तो देह त्याग दे,
या अपनी प्रवृत्ति छोड़ गिद्ध की तरह त्यक्त भोजन पर निर्वाह करें...
या फिर स्वयं को पुनर्स्थापित करें,
आकाश के निर्द्वन्द्व एकाधिपति के रूप में।
सीख :- हमें किसी भी परिस्थितियों में हार न मानते हुए जीवन के आखिरी क्षण तक डटकर मुकाबला करना चाहिए।